मिशन 25 के तहत काटे जा सकते हैं, कई सांसदों के टिकट

0

जयपुर, 06 मार्च (हि.स.)। प्रदेश में भाजपा विधानसभा चुनावों में मात खाने के बाद अब लोकसभा चुनावों के लिए फूक फूक कर कदम रख रही है। भाजपा चाहती है कि विधानसभा चुनावों में मिली मात के बाद अब लोकसभा चुनावों में अपनी जीत हासिल कर साख बचाए रखना चाहती है। भाजपा लोकसभा चुनावों में मिशन 25 पर काम कर रही है। भाजपा पिछली बार लोकसभा चुनावों मे 25 की 25 लोकसभा सीट भाजपा के खाते में थी उसी तरह इस चुनाव में भी 25 की 25 सीटे भाजपा के खाते में हो। इसके लिए हर सम्भव प्रयास करके मिशन 25 को पूरा करना चाहती है।
भाजपा मिशन 25 को लेकर हर बारिक से बारिक कवायद के बीच हर लोकसभा सीट पर सियासी समिकरणकों को बारिकी से खगाल रही है। पार्टी के नेताओं के अनुसार लोकसभा चुनावों के लिए करवाए गए सर्वे की रिपोर्टो के आधार पर कई सांसदो के टिकट काटने की तैयारी चल रही है। इसके कारण पिछले 5 सालों में क्षेत्र में अपनी परफोर्मेस के आधार पर कमजोर रहे सांसद अभी से अपनी सीट बचाने के लिए दिल्ली से लेकर राजस्थान के बीच चक्कर काटने शुरु कर दिए है। वही भाजपा को विधानसभा चुनावों में मिली हार के बाद अब लोकसभा चुनावों में हर कदम को फूक फुक कर रख रही है। पार्टी सूत्रों की माने तो प्रत्याशियों के चयन को लेकर दिल्ली स्तर पर तेज हुई कवायद के बीच हर सीट से मजबूत और जिताऊ प्रत्याशियों को मैदान में उतारने के लिए टिकट के दावेदारों के नाम पर विचार-विमर्श जारी है। इसके लिए दिल्ली में दो दिन पहले बैठक भी हो चुकी है। उस बैठक में प्रदेश के कई नेता मौजूद रहे। बैठक में प्रदेष में लोकसभा के लिए प्रत्याशी चयन के बारे में चर्चा की कई। वही इसके तहत राज्य स्तर पर पिछले दिनों सीटवार हुई रायशुमारी के दौरान सामने आए नामों के साथ ही कई अन्य नामों पर भी चर्चा चल रही है। हर दावेदार पर चर्चा के बीच पार्टी के शीर्ष नेता उसके जीत के आधार और संसदीय क्षेत्र में पकड़ को भी टटोलने में जुटे हुए हैं। सूत्रों की मानें तो इस बार पार्टी मिले फीडबैक और सीटवार कराए गए आंतरिक सर्वे के आधार पर लगभग आठ सांसदों के टिकट काटकर प्रत्याशी में बदलाव करना चाहती है।
सूत्रों का कहना है कि ये बदलाव भाजपा और संघ के स्तर पर तैयार किए गए रिपोर्टों को आधार तैयार कर रहे है। जिसमें सांसदों के परफोर्मेंस को मुख्य आधार रखा गया है. हालांकि, चुनाव के दौरान इतने बड़े स्तर पर फेरबदल के पक्ष में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे नहीं हैं। लेकिन दिल्ली में संगठन महामंत्री रामलाल से मुलाकात के दौरान वसुंधरा ने इस मुद्दे पर चर्चा की और साथ ही उन्होंने लगभग 8 सांसदों के टिकट के बारे में अपनी असहमति भी जताई । लेकिन माना जा रहा है कि इस संबंध में वे अब भाजपा अध्यक्ष अमित शाह से भी मुलाकात कर सकती हैं। वही दमसरी ओर मौजूदा सांसद अपने टिकट को फिर से पक्का करने के लिए सियासी भागदौड़ में जुट गए हैं।


Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *