आरएसएस के सर कार्यवाह भैया जी जोशी ने डैमेज कंट्रोल के लिए सांसद आर के सिन्हा से की लम्बी मंत्रणा

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संघ से जुड़ा हूं,भाजपा से बंधा हूं ,काम करने के लिए सम्मानजनक समाधान निकले-सिन्हा
पटना, 02 मई। आरएसएस के सर कार्यवाह भैया जी जोशी ने बुधवार को यहां डैमेज कंट्रोल के लिए सांसद आर के सिन्हा के साथ लम्बी मंत्रणा की। पटना साहिब लोकसभा क्षेत्र से आरके सिन्हा की बजाय केन्द्रीय मंत्री रविशंकर को भाजपा उम्मीदवार बनाये जाने से पार्टी कार्यकर्ताओं में नाराजगी का संघ ने संज्ञान लिया। इसी कारण जोशी ने एक साथ सांसद सिन्हा व उनके पुत्र और भाजपा की केन्द्रीय चुनाव प्रचार समिति के सदस्य ऋतुराज सिन्हा से संघ कार्यालय विजय निकेतन में डेढ़ घंटे मंत्रणा की।भाजपा और संघ की इस हलचल को लोकसभा चुनाव के बाद पार्टी संगठन में बदलाव के संकेत के रूप देखा जा रहा है।इसका एक कारण यह भी है कि अगले साल बिहार में विधान सभा चुनाव होने हैं। नीतीश के साथ सत्ता में सहभागी होने के कारण भाजपा की प्रतिष्ठा भी दांव पर होगी।बैठक के बाद श्री सिन्हा ने कुछ भी बताने से साफ मना कर दिया। उन्होंने कहा कि संघ से जुड़ा हूं,पार्टी से बंधा हूं।पार्टी की बेहतरी चाहता हूं।मैंनेअपनी बातें कह दी हैं।
भाजपा के वरिष्ठ नेता श्री सिन्हा बुधवार को संघ के ही बुलावे पर पटना आए और मंत्रणा के बाद तुरंत हैदराबाद चले गए । सूत्र बताते हैं कि श्री सिन्हा ने जोशी से कहा कि कार्यकर्ता नाराज हैं। यहां कुछ भी होता है तो मेरी चर्चा होने लगती है जबकि मैं यहां नहीं हूं।ऐसे में पटना में रहकर पार्टी के लिए काम करना कैसे मुमकिन है।इसलिए प्रचार थमने तक बिहार से बाहर रहना बेहतर समझा। उन्होंने कहा कि वे भी चाहते हैं कि पार्टी की बेहतरी के लिए सम्मानजनक समाधान का रास्ता निकले तभी यहां काम किया जा सकता है। उन्होंने जोशी से यह भी कहा कि उनके बीमार होने का मिथ्या प्रचार किया गया।जब ऐसी बात है तो मैं कोई दायित्व कैसे संभाल सकता हूं।श्री सिन्हा बुधवार को पटना आगमन के बाद अपने पुत्र के साथ जयप्रकाश नारायण अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा से सीधे संघ कार्यालय विजय निकेतन गए जहां यह लम्बी मंत्रणा हुई।
अपनी शालीनता के लिए चर्चित श्री सिन्हा ने बैठक के बाद संघ कार्यालय में किसी भी तरह की राजनीतिक टिप्पणी नहीं की । अपने कार्यकर्ताओं में लोकप्रिय श्री सिन्हा ने स्पष्ट किया कि उन्हें किसी तरह की कोई नाराजगी नहीं है। भैया जी जोशी से मिलने के बाद बाहर निकलने पर उन्होंने बताया कि भैया जी जोशी के साथ उनकी बातचीत हुई और बातचीत अच्छी रही।बिना कोई राजनीतिक टिप्पणी किए श्री सिन्हा के वापस लौट जाने से भाजपा में भी सुगबुगाहट बढ़ गई और श्री सिन्हा के संघ के वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक को लेकर राजनीतिक गलियारों में चर्चा तेज़ हो गई ।
राजनीति में अपनी अलग पहचान रखने वाले ईमानदार और समाज की वंचित बिरादरी के लिए तन – मन -धन से जुटे रहने की वजह से कार्यकर्ताओं तथा लोगों के दिलों पर राज करने वाले श्री सिन्हा के आगमन से पटना साहिब में सहसा अटकलों का बाज़ार गर्म हो गया।इस बीच कुछ पत्रकारों के सवालों के जवाब में उन्होंने कुछ भी कहने से परहेज किया। बस इतना ही कहा कि संघ की बैठक थी जिसमें उन्हें आना जरुरी था। श्री सिन्हा ने कहा कि यह बैठक राजनीतिक नहीं थी।
पटना साहिब लोकसभा सीट से अंतिम समय में उन्हें उम्मीदवार नहीं बना कर केन्द्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद को उम्मीदवार बनाये जाने से भाजपा के कार्यकर्ता नाराज़ चल रहे हैं। उम्मदीवारी की घोषणा के बाद से ही श्री सिन्हा का पटना आगमन नहीं हुआ था और उनकी अनुपस्थिति से उनके समर्थकों और कार्यकर्ताओं में मायूसी है।


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