लखनऊ, 31 दिसम्बर (हि.स.)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में किसान कल्याण मिशन के प्रभावी क्रियान्वयन के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि विभिन्न गतिविधियों के जरिए किसान कल्याण तथा किसानों की आमदनी दोगुना करने का यह अभियान 06 जनवरी, 2021 से प्रारम्भ होगा।
इसके अन्तर्गत प्रदेश के प्रत्येक विकास खण्ड पर कृषि व किसान कल्याण पर केन्द्रित विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएं। इस सम्बन्ध में शासन द्वारा जारी विस्तृत दिशा-निर्देशों के अनुरूप प्रभावी कार्यवाही करते हुए किसानों को लाभान्वित किया जाए।
मुख्यमंत्री गुरुवार को यहां अपने सरकारी आवास पर एक उच्चस्तरीय बैठक में विभिन्न विभागों के कार्यों की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि किसान कल्याण मिशन के अन्तर्गत प्रत्येक विकास खण्ड में गोष्ठी, प्रदर्शनी, मेला का आयोजन आगामी 06 जनवरी से प्रारम्भ करते हुए अगले तीन सप्ताह में किया जाना है।
प्रत्येक सप्ताह बुधवार को जनपद के प्रत्येक ग्रामीण क्षेत्रों से आच्छादित होने वाले विधानसभा क्षेत्रों में एक विकास खण्ड में इसका आयोजन किया जाए। यह क्रम तब तक चलता रहेगा, जब तक सारे विकास खण्ड आच्छादित नहीं हो जाते। माइक्रोप्लानिंग करते हुए अन्तर्विभागीय समन्वय से किसान कल्याण मिशन का कार्यान्वयन किया जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि किसान कल्याण मिशन के तीन मुख्य भाग होंगे। इसके अन्तर्गत कृषि व सहवर्ती सेक्टर की वृहद प्रदर्शनी आयोजित की जाए। इस दौरान विभिन्न कृषि तकनीकों के प्रदर्शन की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। किसानों को योजनाओं की सम्यक जानकारी उपलब्ध कराने के लिए किसान गोष्ठी आयोजित की जाए।
इसके अलावा विभिन्न विभागों द्वारा संचालित कृषि कल्याण योजनाओं के पात्र व्यक्तियों को मौके पर लाभान्वित करने की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने भारत सरकार द्वारा पारित कृषि अधिनियमों की जानकारी एवं उसके लाभों के बारे में किसानों को जागरूक किए जाने के निर्देश दिए हैं।
मुख्यमंत्री ने धान खरीद कार्य को पूरी सक्रियता से संचालित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि किसानों को अपनी उपज बेचने में कोई असुविधा न हो। उन्होंने धान क्रय केन्द्रों पर आवश्यकतानुसार अतिरिक्त काटों की व्यवस्था करने के निर्देश दिए हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि नगरीय इलाकों में स्मार्ट सिटी तथा अमृत योजना के तहत कराए जा रहे कार्यों को तेजी से पूरा किया जाए। उन्होंने गो-आश्रय स्थलों पर सभी आवश्यक व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए हैं।