उपेन्द्र राय
लखनऊ, 05 दिसम्बर (हि.स.)। उन्नाव की बुरी तरह जल चुकी दुराचार पीड़ित युवती को एयर एम्बुलेंस से दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल भेजा गया। इस दौरान काफी संख्या में पुलिस के अधिकारी और जवान लगे रहे। अस्पताल से लेकर एयरपोर्ट तक ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया। पूरा रोड खाली कराने के बाद अस्पताल से एयरपोर्ट तक एंबुलेंस से पीड़ित युवती को ले जाया गया। एम्बुलेंस ने 27 किमी. की दूरी 25 मिनट में तय की और 6.30 बजे विमान ने दिल्ली के लिए उड़ान भरी।
लखनऊ मंडल के कमिश्नर मुकेश मेश्राम ने बताया है कि इस मामले की जांच करने के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है। एसआईटी का मुखिया एएसपी रैंक के अधिकारी को बनाया गया है। इस मामले में गुरुवार दोपहर से ही सीएम खुद ही अधिकारियों से पल-पल की जानकारी लेते रहे और उन्होंने ही दिल्ली में पीड़ित युवती को एयरलिफ्ट करके दिल्ली शिफ्ट करने का निर्देश दिया। उनके निर्देश के बाद शाम को युवती को एयर एंबुलेंस से दिल्ली भेजने की तैयारी शुरू हो गयी। इसके लिए लखनऊ पुलिस ने सिविल अस्पताल से अमौसी एयरपोर्ट तक ग्रीन कॉरिडोर बनाया। अस्पताल से लेकर एयरपोर्ट तक ग्रीन कॉरिडोर में ट्रैफिक पुलिस के जवान मुस्तैद रहे। इसके बाद एंबुलेंस से पीड़ित युवती को एयरपोर्ट तक ले जाया गया।
90 फीसद जल चुकी है पीड़िता
लखनऊ सिविल अस्पताल के निदेशक डाक्टर डीएस नेगी ने बताया कि पीड़ित युवती 90 फीसद जल चुकी है, इसलिए उसकी हालत गंभीर है। उसे देखने के लिए अस्पताल में एडीजी जोन एसएन सावंत भी पहुंचे। इसके अलावा अस्पताल में पीड़ित युवती को देखने के लिए पुलिस व प्रशासन के अधिकारियों का तांता लगा रहा।
गांव से कुछ दूरी पर ही आरोपितों ने दिया घटना को अंजाम
उन्नाव के बिहार थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी युवती भोर पहर रायबरेली के बैसवारा रेलवे स्टेशन जाने के लिए घर से निकली थी। वह गांव से करीब तीन सौ मीटर दूर स्टेशन के रास्ते में थी कि उसके ऊपर आरोपितों ने केरोसिन छिड़कर आग लगा दी। उसे उन्नाव के जिला अस्पताल ले जाया गया जहां युवती की गंभीर हालत देखते हुए डाक्टरों ने लखनऊ के लिए रेफर कर दिया। यहां से डाक्टरों ने दिल्ली के लिए रेफर कर दिया है।
बात करने के लिए बुलाया था आरोपिताें ने
गंभीर रूप से झुलसी युवती के बयान के अनुसार आरोपित शिवम त्रिवेदी ने उसे बात करने के बहाने बुलाया था। उसने रायबरेली जाने के दौरान ही रास्ते में बात करने के लिए कहा था। रास्ते में शिवम अपने पिता रामकिशोर के साथ मिला। इनके साथ शुभम और उसके पिता हरिशंकर के अलावा उमेश बाजपेई भी साथ थे। बातचीत के दौरान ही सभी ने मिलकर मुकदमा वापस लेने के लिए दबाव बनाना शुरू कर दिया। जब इससे इंकार किया तो उन्होंने केरोसिन डालकर आग लगा दी। उसने जलते हुए ही पुलिस को फोन किया और गांव की तरफ भागी।
पुलिस ने दिखाई सक्रियता, सीएम भी देते रहे निर्देश
इस घटना के बाद पुलिस ने तुरंत सक्रियता दिखाई। सूचना मिलते ही सीएम ने भी कई निर्देश दिये। इसका नतीजा रहा कि पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए पांचों आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया। इसमें मुख्य आरोपित शिवम द्विवेदी है। युवती को सिविल हास्पिटल रेफर कराने के बाद डीएम और एसपी घटनास्थल और गांव भी पहुंचे। उनके वहां पहुंचने के कुछ देर बाद ही आईजी एसके भगत भी पहुंच गए और उन्होंने अपने सामने डॉग स्क्वाएड व फॉरेंसिक टीम से मौके की जांच कराई। बाद में अधिकारियों ने गिरफ्तार आरोपितों से पूछताछ भी की।
डीजीपी ने कहा, काल डिटेल्स खंगाल रही पुलिस
डीजीपी ओपी सिंह ने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। जली हुई युवती को बचाने के लिए हरसंभव कोशिश की जा रही है। उसे लखनऊ रेफर किया गया। यहां से दिल्ली भेज दिया गया है जिससे उसको बेहतर इलाज मिल सके। पुलिस सभी की कॉल डिटेल्स खंगाल रही है। हमने पीड़ित युवती का स्टेटमेंट भी लिया है, जो केस में बहुत महत्वपूर्ण होगा।
रायबरेली में दर्ज है सामूहिक दुष्कर्म का मामला
पीड़िता ने बिहार और लालगंज कोतवाली में सामूहिक दुष्कर्म के दो मुकदमे दर्ज कराए थे, जिनकी विवेचना लालगंज पुलिस कर रही है। पहला मुकदमा बिहार थाने में 12 दिसम्बर 2018 को उसी क्षेत्र के हिंदू नगर निवासी शिवम त्रिवेदी और शुभम त्रिवेदी के खिलाफ लिखा गया। पुलिस ने विवेचना बाद में लालगंज ट्रांसफर कर दिया। दूसरा मुकदमा 19 जनवरी को लालगंज कोतवाली में लिखा गया, जिसमें इन्हीं दोनों को आरोपित बनाया गया है। दोनों मुकदमों में सामूहिक दुष्कर्म की धाराएं लगाई गई हैं।