लखनऊ, 12 जून (हि.स.)। कोरोना के खिलाफ जंग में एक बड़ा कदम उठाते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को प्रदेश के सभी 75 जनपदों के जिला चिकित्सालयों में भेजी गई ‘ट्रू नेट’ मशीनों का एक साथ लोकार्पण किया। अब राज्य में पहले से मौजूद आरटीपीसीआर के साथ इन मशीनों के जरिए भी कोरोना जांच हो सकेगी। इससे राज्य की कोरोना जांच क्षमता में बहुत बड़ा इजाफा हुआ है।
लॉकडाउन के प्रथम चरण में ओपीडी-इमरजेंसी सेवाएं बंद करना था मजबूरी
इस मौके पर मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना महामारी के दौरान यह देखा गया है कि जहां भी थोड़ी लापरवाही हुई, वहां संक्रमण तेजी के साथ फैला है। इसलिए सावधानी बरतने के लिए लॉकडाउन के प्रथम चरण में अस्पतालों में केवल कोरोना जांच की सुविधा के अलावा ओपीडी एवं इमरजेंसी सेवाएं बंद कर दी गई थीं। प्रथम चरण के बाद इमरजेंसी सेवाएं प्रारम्भ की गईं। लेकिन, हमारे सामने उस समय ऐसा कोई भी रास्ता नहीं था, जिससे हम लोगों को एक सुरक्षित माहौल में इमरजेंसी सेवाएं और ऑपरेशन की सुविधा उपलब्ध करा सकें।
संक्रमण की चेन तोड़ने में मददगार सभी उपाय अपनाना जरूरी
उन्होंने कहा कि यह महत्वपूर्ण है कि जब हम कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से लड़ रहे हैं, उन स्थितियों में हमारे सामने वे सारे उपाय होने चाहिए जो हर प्रकार से कोरोना वायरस संक्रमण की चेन को तोड़ने में मददगार हो सकते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने पिछले दिनों चार मंडलों बस्ती, गोरखपुर, आजमगढ़ और वाराणसी का स्वयं दौरा किया था और वहां इन सभी मशीनों की आवश्यकता को महसूस करते हुए इसकी उपयोगिता के बारे में टीम-11 को भी बहुत स्पष्ट शब्दों में अवगत कराया था।
ट्रू-नेट मशीन से जल्द प्राप्त की जा सकती है रिपोर्ट
उन्होंने कहा कि व्यापक विचार-विमर्श के बाद यह बात सामने आई कि ट्रू-नेट मशीन के माध्यम से कोरोना वायरस के जांच की सुविधा को उपलब्ध कराया जा सकता है और शीघ्र रिपोर्ट प्राप्त की जा सकती है। इसलिए हमने प्रदेश के सभी नॉन-कोविड अस्पतालों, सभी जिला चिकित्सालयों के साथ ही मेडिकल कॉलेजों में इस मशीन की आपूर्ति के लिए त्वरित कार्रवाई की और आज हम प्रदेश के सभी 75 जनपदों और 6 मेडिकल कॉलेजों में इस मशीन की आपूर्ति करने में सफल रहे हैं।
एक ट्रू-नेट मशीन से एक दिन में 25 नमूनों की जांच सम्भव
मुख्यमंत्री ने कहा कि डबल सीरीज की यह मशीन एक दिन में 20-25 सैंपल की जांच कर सकती है। इससे इमरजेंसी सेवाएं और आवश्यक ऑपरेशन की सेवाएं उपलब्ध कराने में मदद मिलेगी। हम हर जांच के साथ कोरोना की चेन को तोड़ रहे हैं और यह शासन द्वारा किए जा रहे प्रयासों की महत्वपूर्ण कड़ी है। कोरोना महामारी के दौरान हम इस मशीन का उपयोग इमरजेंसी और सेमी-इमरजेंसी सेवाओं और आवश्यक ऑपरेशन्स के लिए करेंगे। साथ ही अन्य दिनों में ट्यूबर-क्युलोसिस की जांच में भी इसका उपयोग किया जा सकता है।
कोविड अस्पतालों में किसी भी मरीज को नहीं हो कोई असुविधा
उन्होंने कहा कि प्रदेश के कोविड अस्पतालों में शासन स्तर पर सभी सुविधाएं निःशुल्क उपलब्ध कराई जा रही हैं। हमारा प्रयास होना चाहिए कि कोविड अस्पताल में आने वाले किसी भी मरीज को कोई भी असुविधा न हो। सभी डॉक्टर समय पर राउंड लें, पैरामेडिकल और नर्सिंग स्टाफ वहां मौजूद रहे, समय पर वहां भोजन आदि उपलब्ध हो, साफ-सफाई की उचित व्यवस्था हो। हम इस कार्य को पूरी प्रतिबद्धता के साथ करें।
मेडिकल स्क्रीनिंग की टीम पूरी मुस्तैदी से करे काम
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन नॉन-कोविड अस्पतालों में इमरजेंसी और सेमी-इमरजेंसी सेवाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं, वहां पर भी हम इस पर ध्यान दें कि मेडिकल स्क्रीनिंग की टीम पूरी मुस्तैदी के साथ कार्य करे। हमें इस बारे में सतर्कता बरतनी है कि संक्रमण की कहीं गुंजाइश न रहे।
अब तक 4.5 करोड़ से अधिक लोगों की हुई स्क्रीनिंग
उन्होंने कहा कि पूरे प्रदेश में लगभग एक लाख आशा वर्कर और उनके अन्य सहयोगियों के द्वारा गांव-गांव और घर-घर जाकर मेडिकल स्क्रीनिंग की जा रही है। इस टीम द्वारा अभी तक 4.5 करोड़ से अधिक लोगों की स्क्रीनिंग की जा चुकी है। कोरोना के खिलाफ हमारी लड़ाई पूरी मुस्तैदी के साथ आगे बढ़ रही है। हमें पूरी शक्ति के साथ इस लड़ाई को आगे बढ़ाना है और इसीलिए प्रदेश की 23 करोड़ जनता के हित में आज 75 जनपदों और 6 मेडिकल कॉलेजों में ट्रू-नेट मशीन एक साथ उपलब्ध कराई गईं हैं।
कोरोना की 20,000 प्रतिदिन जांच का लक्ष्य पूरा करने में मिलेगी मदद
मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि सभी जनपदों में, जहां यह मशीनें लगाई गई हैं, वहां की टीम इसका बेहतर उपयोग करके लोगों को इमरजेंसी और सेमी-इमरजेंसी सेवाओं के साथ ही सैंपल लेकर टेस्टिंग की प्रक्रिया को आगे बढ़ाएगी। मुख्यमंत्री ने 15 जून तक प्रतिदिन 15,000 टेस्ट करने का लक्ष्य पांच दिन पहले ही पूरा करने पर स्वास्थ्य महकमे को बधाई दी। उन्होंने कहा कि अब जून के अंत तक 20,000 टेस्ट के लक्ष्य को पूरा करने में ट्रू-नेट मशीनों के माध्यम से सहायता मिलेगी।