लोकसभा चुनाव में राजद की करारी हार से भी सबक सीखने के लिए तैयार नहीं तेज प्रताप

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लगता है लोकसभा चुनाव में राजद की करारी शिकस्त के बावजूद राजद के मुखिया लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव कोई भी सबक सीखने के लिए तैयार नहीं है। जिस तरह से शनिवार को राजद छात्र संगठन के कार्यकर्ताओं को पार्टी दफ्तर में घंटों खड़ा कराने के बावजूद वह नहीं पहुंचे और भरी दोपहरी में उन्हें अपने आवास पर आने का आदेश जारी किया उससे राजद के छात्र कार्यकर्ता काफी नाराज दिखे।



पटना, 08 जून (हि.स.)। लगता है लोकसभा चुनाव में राजद की करारी शिकस्त के बावजूद राजद के मुखिया लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव कोई भी सबक सीखने के लिए तैयार नहीं है। जिस तरह से शनिवार को राजद छात्र संगठन के कार्यकर्ताओं को पार्टी दफ्तर में घंटों खड़ा कराने के बावजूद वह नहीं पहुंचे और भरी दोपहरी में उन्हें अपने आवास पर आने का आदेश जारी किया उससे राजद के छात्र कार्यकर्ता काफी नाराज दिखे।

राजद छात्र कार्यकर्ता सम्मेलन में पटना विश्वविद्यालय से शिरकत करने आये एक छात्र राकेश कुमार ने तो यहां तक कहा कि यदि यही हाल रहा था तो बिहार में कोई राजद का नाम लेने वाला भी नहीं मिलेगा। उसने कहा कि इस तरह अपमानित होने से बेहतर है वह किसी और पार्टी में चले जाये। किसी और पार्टी में उसके साथ इस तरह का व्यवहार तो नहीं किया जाएगा। उसने बताया कि भरी धूप में वह काफी दूर से चलकर यहां राजद के दफ्तर में पहुंचा है और अब उससे कहा जा रहा है कि चिड़ियाखाना के पास स्थित तेज प्रताप  यादव के घर पहुंचे। यहां से उनके घर तक ले जाने के लिए कोई सवारी की भी व्यवस्था नहीं की गई है। अब कड़कड़ाती धूप में वह तेज प्रताप यादव के घर तक कैसे जाये। अंतिम पहर में तेज प्रताप यादव के इस तरह के आदेश पूरी तरह से अव्यहारिक है।

दरअसल राजद के दफ्तर में छात्र कार्यकर्ता सम्मेलन की पूरी तैयारी हो चुकी थी। मंच तैयार हो चुका था, कुर्सियां लग गयी थी और गर्म हवाओं से बचने के लिए चारो तरफ से टेंट भी खींच दिये गये थे। मंच पर लालू यादव, राबड़ी देवी, मीसा भारती, तेजप्रताप यादव और तेजस्वी यादव की बड़ी तस्वीरें भी लगा दी गई थी। इसके साथ ही लाउडस्पीकर पर तेज प्रताप यादव की तारीफ में एक से बढ़कर एक गाने भी बजाये जा रहे थे। इस दौरान छात्र राजद के कार्यकर्ता छोटे- छोटे समूहों में दूर दूर से चले आ रहे थे। चूंकि उनसे कहा गया था कि शनिवार को छात्र राजद के अध्यक्ष का भी चुनाव होगा इसलिए वे पूरे उत्साह में नये-नये कुर्ता पायजामा पहन कर आ रहे थे। राजद छात्र संगठन की बैठक सुबह 11 बजे से ही प्रस्तावित थी। लेकिन वहां समय पर पहुंचे छात्रों को कहा गया है कि अब यह बैठक दोपहर एक बजे से होगी। यह सुनकर छात्रों का उत्साह थोड़ा ठंडा हो गया। मंच के इर्दगिर्द बैठकर वह तेज प्रताप यादव के कसीदे वाले गाने सुनते हुये समय काटते रहे। फिर एक बजे के करीब उन्हें कहा गया कि तेजप्रताप यादव की तबीयत खराब हो गई है इसलिए वह छात्र कार्यकर्ताओं से अपने घर पर ही मुलाकात करेंगे। इस घोषणा के बाद वहां पर मौजूद सभी कार्यकर्ताओं का धैर्य जवाब दे दिया। उनके बीच एक भिनभिनाहट सी होने लगी। एक छात्र कार्यकर्ता ने कहा कि तेज प्रताप यादव उनलोगों के साथ बंधुआ मजदूरों जैसा व्यवहार कर रहे हैं। हमलोग छात्र राजनीति करने के लिए संगठन में शामिल हुये हैं न कि निजी तौर पर उनकी सेवा करने के लिए। यदि अभी भी ये लोग नहीं सुधरे तो इनका भगवान ही मालिक है।

एक अन्य कार्यकर्ता ने कहा कि यहां पर पूरी तरह से गफलत वाली स्थिति बनी हुई है। हम एक ऐसे राजनीतिक कार्यक्रम में शिरकत करने आये थे जिसमें छात्र राजद का अध्यक्ष चूना जाना था। अचानक से कार्यक्रम का समय बढ़ाया गया और फिर यह कह कर कि तेजप्रताप यादव सभी को घर पर ही बुला रहे हैं कार्यक्रम का स्थान ही बदल दिया गया। अब इस भरी दुपहरिया में हमलोग उनके घर तक कैसे जाये। हमारे पास अपना वाहन है नहीं, और उनके घर तक कोई पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन की व्यवस्था नहीं है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है और यदि राजद को वाकई में एक जिम्मेदार पार्टी के तौर पर स्थापित करना है तो इस तरह की अव्यवस्था से बचा जाना आवश्यक है।

इस कार्यक्रम के आयोजन में लगे छात्र नेता भी तेज प्रताप यादव के फरमान से परेशान दिखे। उनकी समझ में नहीं आ रहा था कि पार्टी दफ्तर में मौजूद तमाम छात्रों को तेज प्रताप यादव के घर तक कैसे पहुंचाया जाये। जब उन्हें कोई रास्ता नहीं सूझा तो मंच से यह घोषणा करके कि सभी छात्रों को तेज प्रताप यादव घर पर बुला रहे हैं गायब हो गये। दूर दराज के क्षेत्रों से आने वाले बहुत सारे छात्रों को तो यह भी पता नहीं था कि तेज प्रताप यादव का घर कहां पर है। वे पार्टी दफ्तर में घूम घूमकर लोगों से तेज प्रताप यादव के घर का पता पूछ रहे थे। मजे की बात है कि पार्टी दफ्तर के तमाम पदाधिकारी तेज प्रताप यादव के कार्यक्रम के पेशनजर सुबह से ही गायब थे। राजद के प्रदेश अध्यक्ष रामचंद्र पूर्वे और महासचिव आलोक मेहता के कमरों के सहित अमूमन सभी कमरों पर ताले लगे हुये थे। इस संबंध में पूछे जाने पर राजद के एक कार्यकर्ता ने बताया कि जिस दिन तेजप्रताप यादव पार्टी कार्यालय में आने वाले वाले होते हैं उस दिन सभी पदाधिकारी नदारद रहते हैं। सीधी सी बात है तेज प्रताप यादव से सभी खौफ खाते हैं इसलिए उनके सामने आने से डरते हैं। पता नहीं वह कब किसकी क्लास लगा दें।

जानकारों का कहना है कि तेज प्रताप यादव ने इस तरह की हरकत पहली बार नहीं की है। इसके पहले भी कई बार पार्टी में कार्यक्रमों की घोषणा करके नहीं पहुंचे हैं। इसका प्रभाव उनकी विश्वसनीयता पर भी पड़ रहा है।


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