नई दिल्ली, 07 जनवरी (हि.स.)। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने मंगलवार को राष्ट्रीय राजमार्गों पर बने सभी प्रकार के गति अवरोधकों (स्पीड ब्रेकरों) को हटाने के लिए विशेष अभियान शुरू किया है।
नितिन गडकरी ने कहा कि मंत्रालय ने यह कदम टोल प्लाजाओं पर फास्टैग को प्रभावी तरीके से लागू किए जाने तथा नकद में टोल टैक्स वसूलने की व्यवस्था को फास्टैग में परिवर्तित करने के बाद उठाया है। इससे टोल प्लाजाओं पर सड़क यातायात सुगम और व्यवधान मुक्त हो जाएगा। उन्होंने कहा कि इस बात को ध्यान में रखते हुए कि राष्ट्रीय राजमार्गों को बिना किसी बाधा के वाहनों को पूरी गति से आने-जाने की सुविधा के अनुरूप डिज़ाइन किया गया है। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकार क्षेत्र के तहत राष्ट्रीय राजमार्गों से स्पीड ब्रेकरों को हटाने का अभियान शुरू किया गया है।
उन्होंने कहा कि वाहनों की गति तेज या धीमी करते समय गति अवरोधक काफी समस्या पैदा करते हैं। इनकी वजह से ईंधन खपत भी ज्यादा होती है और यात्रियों को काफी असुविधा का सामना करना पड़ता है। गति अवरोधक हटाए जाने से समय और पैसे दोनों की बचत होगी और साथ ही राष्ट्रीय राजमार्गों पर विशेष रूप से एंबुलेंस गाड़ियों और वृद्धजनों तथा अस्वस्थ लोगों को लाने ले जाने वाले वाहनों की आवाजाही आसान हो सकेगी। कुल मिलाकर देखें तो यह ईंधन की बचत को भी सुनिश्चित करेगा जिसके लिए देश को बड़े पैमाने पर आयात पर निर्भर रहना पड़ता है। इसके अलावा इससे प्रदूषण में भी कमी आएगी।
उल्लेखनीय है कि राजमार्गों पर वाहनों की आवाजाही सुगम बनाने के उद्देश्य से फास्टैग प्रणाली को 15 दिसंबर 2019 से लागू किया जा चुका है। इसके माध्यम से टोल संग्रह इलेक्ट्रानिक प्रणाली से किया जाता है। इसके लागू होने के साथ ही टोल प्लाजा पर यात्रियों द्वारा ईटीसी के सकारात्मक प्रभावों को महसूस किया जा रहा है। राष्ट्रीय राजमार्गों पर यात्रियों को सुरक्षित, सुचारू और निर्बाध यात्रा की सुविध्रा मुहैया कराने की प्रतिबद्धता की दिशा में स्पीड ब्रेकर-मुक्त राजमार्ग एक और कदम है।