रैपिड रेल प्रोजेक्ट : उत्तर मध्य रेलवे के 132 केवी-डबल सर्किट इलेक्ट्रिकल हाई टेंशन लाइन की शिफ्टिंग का कार्य पूर्ण

0

लॉकडाउन के दौरान भी चलता रहा कार्य, हाईटेंशन लाइन की शिफ्टिंग के बाद जोर पकड़ेगा काम 



गाजियाबाद, 03 मई (हि.स.)। दिल्ली से गाजियाबाद मेरठ रैपिड रेल प्रोजेक्ट की एक और बाधा हुई दूर हो गयी है। नेशनल कैपिटल रीजनल ट्रांसपोर्ट कार्पोरेशन (एनसीआरटीसी) ने साहिबाबाद आरआरटीएस स्टेशन के पास दादरी से साहिबाबाद तक उत्तर मध्य रेलवे के 132 केवी-डबल सर्किट इलेक्ट्रिकल हाईटेंशन लाइन के शिफ्टिंग और संशोधन का काम सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है।
एनसीआरटीसी के पीआरओ सुधीर कुमार शर्मा ने रविवार को बताया कि यह हाईटेंशन लाइन 17 किमी लंबे दुहाई से साहिबाबाद के बीच के प्राथमिक खंड के कार्यान्वयन में बाधा बन रही कुल छह ईएचटी लाइनों मे से पांचवी और अब तक संशोधित की गयी 20वीं इलेक्ट्रिकल हाईटेंशन लाइन थीं। इस लाइन का स्थानांतरण बहुत ही महत्वपूर्ण और संवेदनशील था। क्योंकि भारतीय रेलवे के ट्रेन परिचालन को ध्यान में रखते हुये इस ट्रांसमिशन लाइन को बंद करना आसान नहीं था। साथ ही इस स्थान पर और राइट ऑफ वे (आरओडब्ल्यू ) की गंभीर समस्या थी। उन्होंने बताया कि इस हाईटेंशन लाइन शिफ्टिंग के बाद अब काम और जोर पकड़ेगा।
शर्मा ने बताया कि एनसीआरटीसी टीम ने बेहद सटीक और योजनबद्ध तरीके से इस शिफ्टिंग और संशोधन कार्य को अंजाम दिया। उन्होंने बताया कि इस कार्य के दौरान कोविड-19 के प्रकोप के मद्देनजर मानक संचालन प्रक्रिया का समुचित पालन किया गया जिसमें कार्य स्थल पर अधिकारियों और मज़दूरों की थर्मल स्क्रीनिंग, सेनेटाइजर का उपयोग और सामाजिक दूरी बनाए रखना शामिल है। दिल्ली से मेरठ का सफर 55 मिनट में पूरा करने के लिए नेशनल कैपिटल रीजन ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (एनसीआरटीसी) के रैपिड रेल के 36 हजार करोड़ के प्रोजेक्ट पर तेजी से कार्य किया जा रहा है। वर्ष-2023 तक परतापुर तक रैपिड रेल चलाने का दावा करने वाला एनसीआरटीसी टेंडर प्रक्रिया में तेजी ला रहा है, जिससे वर्ष-2025 तक मेरठ तक रैपिड रेल का संचालन किया जा सके।


प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *