नई दिल्ली, 14 अप्रैल (हि.स.)। प्रधानमंत्री द्वारा कोरोना संकट के चलते लॉकडाउन की अवधि बढ़ाने की घोषणा करने के बाद मंगलवार को भारतीय रेलवे ने भी सभी यात्री रेलगाड़ियों को 3 मई तक नहीं चलाने का निर्णय किया है।
रेलवे बोर्ड ने आदेश जारी कर कहा है कि कोरोना के मद्देनजर किए गए उपायों की निरंतरता में यह निर्णय लिया गया है कि लॉकडाउन के पहले चरण की तरह भारतीय रेल की राजधानी, दुरंतो और शताब्दी सहित सभी प्रीमियम ट्रेनें, मेल, एक्सप्रेस और सुपरफास्ट के साथ पैसेंजर गाड़ियां अब 3 मई रात 12 बजे तक निरस्त रहेंगी। इस अवधि में उपनगरीय ट्रेनें, कोलकाता मेट्रो, कोंकण रेलवे की ट्रेनें भी रद्द रहेंगी। उल्लेखनीय है कि इससे पहले रेलवे ने कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए 14 अप्रैल की मध्य रात्रि तक सभी यात्री सेवाएं रद्द की थीं।
इस दौरान देश के विभिन्न हिस्सों में खाद्य पदार्थों सहित तमाम आवश्यक सामान की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए माल और पार्सल गाड़ियों की आवाजाही पहले की तरह जारी रहेगी। रेलवे टिकट बुकिंग के सभी काउंटर अगले आदेश तक बंद रहेंगे। इस दौरान ई-टिकट भी बुक नहीं होगा। जबकि पूर्व में 21 दिन के लॉक डाउन के बाद अर्थात 15 अप्रैल से आगे की टिकट बुकिंग जारी थी।
यात्रियों की पहले से बुक टिकटों के पूरे पैसे उन्हें वापस किए जाएंगे। रेलवे स्टेशनों पर टिकट काउंटर से बुक कराये गए टिकटों का पूरा रिफंड अगले तीन माह तक लिया जा सकेगा। टिकट बुकिंग के लिए ऑनलाइन रद्दीकरण की सुविधा चालू रहेगी। जहां तक 3 मई तक रद्द की गई ट्रेनों का सवाल है, तो रेलवे द्वारा रिफंड स्वचालित रूप से ग्राहकों को ऑनलाइन किया जाएगा, जबकि जिन लोगों ने काउंटरों से टिकट बुक किया है वह रिफंड 31 जुलाई तक ले सकते हैं।