प्रधानमंत्री मोदी ने जेएनयू में स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा का अनावरण किया

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जेएनयू में गूंजे वंदेमातरम और भारत माता के नारे स्वामी विवेकानंद के विजन को पूरे विश्व में फैला रहे हैं मोदी : निशंक



नई दिल्ली, 12 नवम्बर (हि.स.)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने युवाओं के प्रेरणास्रोत स्वामी विवेकानंद के 157वें जयंती वर्ष के मौके पर गुरुवार को वर्चुअल माध्यम से जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) परिसर में स्वामी विवेकानंद की आदमकद प्रतिमा का अनावरण किया।

इस दौरान विश्वविद्यालय परिसर में वंदेमातरम और भारत माता की जय के नारे गूंजे। वहीं प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन की शुरुआत स्वामी विवेकानंद अमर रहें के नारे के साथ की।

प्रधानमंत्री मोदी ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि मेरी कामना है कि जेएनयू में लगी स्वामी विवेकानंद की ये प्रतिमा सभी को प्रेरित करने के साथ ही ऊर्जा से भरेगी। ये प्रतिमा वो साहस दे देगी जिसे स्वामी विवेकानंद प्रत्येक व्यक्ति में देखना चाहते थे। ये प्रतिमा वो करुणाभाव सिखाए, सहानुभूति सिखाए, जो स्वामी जी के दर्शन का मुख्य आधार है।

उन्होंने कहा कि ये प्रतिमा देश को युवा नेतृत्व विकास के विजन के साथ आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करे, जो स्वामी जी की अपेक्षा रही है। ये प्रतिमा हमें स्वामी जी के सशक्त-समृद्ध भारत के सपने को साकार करने की प्रेरणा देती रहे।

केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक वर्चुअल माध्यम से कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, एक एक नरेन्द्र के द्वारा दूसरे नरेन्द्र की प्रतिमा का अनावरण होने का दिन इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में दर्ज होगा। उन्होंने कहा कि विवेकानंद के विजन को दूसरे नरेन्द्र (प्रधानमंत्री) पूरे विश्व में फैला रहे हैं।

उन्होंने कहा कि जेएनयू युवा शक्ति का केंद्र रहा है। यह प्रतिमा जेएनयू के इतिहास में नया आगाज होगा। जेएनयू ने पिछले पांच सालों में एनआईआरएफ रैकिंग में उत्साहजनक वृद्धि की है। यह इस सूची में दूसरे पायदान पर है। आत्मनिर्भर भारत अभियान की दृष्टि की में भी यह कई कदम उठा रहा है।

कुलपति एम जगदीश कुमार ने कहा, जेएनयू के लिए ऐतिहासिक दिन है। स्वामी विवेकानंद युवाओं को प्रेरित करते रहेंगे। उनकी शिक्षाओं के माध्यम से आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में सहभागी होंगे।

इससे पहले सांस्कृतिक कार्यक्रम में भारतीय लोक गायिका पद्मश्री मालिनी अवस्थी ने युवा नरेन्द्र के अपने गुरु परमहंस से मुलाकात को भजन के माध्यम से प्रस्तुत करने के साथ ही वंदेमातरम का गायन किया।

उल्लेखनीय है कि 15 साल पहले एबीवीपी ने कुलपति के समक्ष विश्वविद्यालय में स्वामी विवेकानंद की मूर्ति स्थापना की मांग उठाई थी। 2017 में कार्यकारी परिषद ने इस मांग को पास कर दिया। उसके बाद कुलपति ने विश्वविद्यालय परिसर में स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा स्थापित करने और आसपास के क्षेत्र के विकास के लिए 14 नवम्बर 2018 को  एक समिति का गठन किया था।  पांच सदस्यीय टीम के चेयरमैन डॉ. बुद्ध सिंह को बनाया गया था।

 


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