कोलकाता, 03 अप्रैल (हि.स.)। दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज से पश्चिम बंगाल लौटे लोगों में से एक व्यक्ति में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हो गई है। खास बात यह है कि वह कोलकाता पोर्ट ट्रस्ट के अधीन हल्दिया पोर्ट में काम करता था। उसके कोरोना से संक्रमित होने की जानकारी मिलने के बाद पूरे पोर्ट प्रबंधन में हड़कंप मच गया है। यहां जहाजों के पहुंचने के बाद माल उतारने का काम बंद कर दिया गया है। कई लोग क्वॉरेंटाइन हुए हैं और अस्पतालों में जांच के लिए पहुंच रहे हैं।
कोरोना पॉजिटिव निकला व्यक्ति हल्दिया बंदरगाह पर एक निजी कंपनी में क्रेन ऑपरेटिंग का काम करता है। वह यहां सुपरवाइजर के पद पर है। वह दिल्ली के निजामुद्दीन मरकज कार्यक्रम में गया था और 24 मार्च को दिल्ली से वापस लौटा था। उसके बाद से वह लगातार काम पर आ रहा था। लॉक डाउन के बावजूद कोलकाता और हल्दिया बंदरगाह पर जहाजों का आना-जाना जारी था और माल उतारा जाता था। इस बीच दिल्ली के निजामुद्दीन से लौटे लोगों की तलाश करती एक केंद्रीय टीम बुधवार को हल्दिया पहुंची। उसे क्वॉरेंटाइन करने के लिए ले जाया गया। गुरुवार रात उसकी रिपोर्ट आई है जिसमें उसके कोरोना संक्रमण की पुष्टि हो गई है। इसके बाद हल्दिया बंदरगाह पर काम करने वाले लोगों में दहशत का माहौल बन गया है। पिछले एक सप्ताह से ड्यूटी पर आने से वह बंदरगाह पर अन्य कर्मचारियों के संपर्क में आ चुका है।
उसके कोरोना से संक्रमण की पुष्टि होने के बाद शुक्रवार को हल्दिया बंदरगाह पर एक भी व्यक्ति काम पर नहीं आया। इसके कारण बंदरगाह का पूरा काम बंद है। बंदरगाह पर लगे सीसीटीवी कैमरे को खंगाला जा रहा है ताकि पता चल सके कि वह व्यक्ति किसके-किसके संपर्क में आया था। हल्दिया बंदरगाह के महाप्रबंधक अमल दत्त ने शुक्रवार को बताया कि वह व्यक्ति किसके-किसके संपर्क में आया था इसे लेकर स्थिति स्पष्ट नहीं है इसलिए सीसीटीवी फुटेज देखा जा रहा है। फिलहाल बंदरगाह का काम रोक दिया गया है। सभी कर्मचारियों को क्वॉरेंटाइन में रहने का सुझाव दिया गया है।