मध्य प्रदेश से चार गिरफ्तार दंपति की हत्या मामले में

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अहमदाबाद,09 मार्च (हि.स.) |  थलतेज के हेबतपुर स्थित शांति पैलेस बंगलों में एक वरिष्ठ  दंपति की हत्या और लूट के मामले में चार आरोपितों को मध्य प्रदेश से  पुलिस की क्राइम ब्रांच ने गिरफ्तार किया है। चारों आरोपी हत्या और डकैती  के बाद अपने गृहनगर भाग गए थे। क्राइम ब्रांच की टीमें उनके पीछे उनके गृहनगर पहुंचीं और बारी-बारी से चारों आरोपितों को उठाया। अपराध में शामिल आरोपितों में से दो को भिंड जिले के महेगांव इलाके में और एक को अन्य इलाके से गिरफ्तार किया गया है, जबकि एक को अहमदाबाद के जनतानगर से दबोचा गया है।
बताया गया है कि चार लुटेरे अशोकभाई और ज्योत्स्ना बेन के बंगले में घुस गए,  उनका गला काट दिया और घर से 50 हजार रुपये नकद और जेवर लूट लिए। क्राइम ब्रांच की टीमों ने हत्यारों को पकड़ने के लिए 200 से अधिक सीसीटीवी चेक किए, जिनमें आरोपितों की पहचान की गई। अशोकभाई और ज्योत्स्ना बेन को मारने के बाद, चारों आरोपित मध्य प्रदेश में ग्वालियर के गिजोरा भाग गए।
क्राइम ब्रांच की 3 से 4 टीमें गिजोरा पहुंची। जहां स्थानीय क्राइम ब्रांच की मदद से आरोपितों को पकड़ने के लिए एक वॉच लगाई गई थी, जिसमें एक आरोपित को पुलिस ने रविवार रात उठा लिया। पुलिस ने उसके द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर तीन अन्य आरोपितों को भी गिरफ्तार किया।
पुलिस ने लूटे गए पैसे को चारों से जब्त कर लिया है, साथ ही साथ ज्योत्स्ना बेन की ज्वैलरी, आरोपितों के उपयोग में लाई गयी दो बाइक और इस्तेमाल किया गया एक चप्पू भी बरामद किया। सोमवार शाम को चारों आरोपियों को अहमदाबाद क्राइम ब्रांच को सौंप दिया गया और टीमें उन्हें अहमदाबाद ले आयी।
आरोपितों की गिरफ्तारी के बारे में कहा गया कि पुलिस ने हेबतपुर और आसपास के इलाकों के करीब 200 सीसीटीवी फुटेज चेक किए, जिनमें चारों आरोपितों की पहचान की गई। इसके अलावा, पुलिस ने सोसाइटी और आसपास के 70 से अधिक लोगों से पूछताछ कर जानकारी हासिल की।
अशोकभाई और ज्योत्स्ना बेन के बेटे हितार्थ 6 साल से दुबई में रह रहे हैं। लुटेरों ने उनके बंगले को निशाना बनाया क्योंकि उन्हें दम्पति के दुबई वाले सम्पर्क से वहां अधिक सोना मिलने  की उम्मीद थी। ।
शांतिवन पैलेस बंगलों का सुरक्षा गार्ड जयंतीभाई भरवाड़, चार हत्यारों को भागते हुए देखने वाला पहला व्यक्ति था। ज्योतिभाई कहा, मैं सुबह लगभग 8.30 बजे अपने केबिन के पास बैठा था, जब मैंने चार लोगों को अशोकभाई के बंगले से बाहर आते देखा। जयंतीभाई ने बताया कि चारों पहले बंगले से सहज रूप से निकले , लेकिन बाद में बहुत तेजी से भाग गए। मैंने अंदर जाकर देखा कि कार का दरवाजा खुला था और घर का मुख्य दरवाजा टूटा हुआ था। अशोकभाई बाहर कमरे में खून से लतपथ अवस्था में पड़े थे।  मैंने  पड़ोसी हर्षदभाई को सूचित किया। बाद में अशोक भाई की पत्नी ज्योत्स्ना बेन का शव भी सीडीओ में पड़ा मिला। सोसाइटी के अध्यक्ष के जरिए इसकी सूचना पुलिस को दी गई।

 


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