नई दिल्ली, 20 जनवरी (हि.स.)। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बुधवार को सिंगापुर के रक्षा मंत्री डॉ. एनजी इंग हेन के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग सुविधा के माध्यम से द्विपक्षीय बैठक की। बैठक के बाद राजनाथ सिंह ने कहा कि आज की बातचीत से दोनों देशों को कई द्विपक्षीय मुद्दों पर लाभ होगा, जो हमारे विशेष संबंधों को और मजबूत करने के लिए आगे बढ़ रहे हैं।
रक्षा मंत्री ने कहा कि सिंगापुर के रक्षा मंत्री डॉ. एनजी इंग हेन के साथ हुई बैठक काफी महत्वपूर्ण रही, क्योंकि सिंगापुर जैसा देश भारत का रक्षा साझेदार है। दोनों रक्षा मंत्रियों ने भारत और सिंगापुर के सशस्त्र बलों की बढ़ती व्यस्तता पर संतोष व्यक्त किया और द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को अधिक ऊंचाइयों पर ले जाने पर सहमति व्यक्त की। बैठक में राजनाथ सिंह ने दक्षिण चीन सागर और भारत-प्रशांत क्षेत्र पर भारत के रुख का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि भारत एक खुले, समावेशी और स्थिर भारत-प्रशांत क्षेत्र के लिए सुरक्षित समुद्री मार्गों के माध्यम से जुड़ा हुआ है और आसियान देशों की एकता और एकीकृत व्यापार के लिए प्रतिबद्ध है।
राजनाथ सिंह ने भारत के रुख को दोहराया कि अंतरराष्ट्रीय कानूनों और मानदंडों को लागू करना, नेविगेशन की स्वतंत्रता, बिना लाइसेंस के वैध वाणिज्य और विवादों का शांतिपूर्ण निपटारा करना ही भारत-प्रशांत क्षेत्र में नियम-आधारित आदेश सुनिश्चित करने का एकमात्र तरीका है। दोनों नेताओं के बीच वार्ता में चीन के आक्रामक होने पर भी चिंता जताई गई। उन्होंने सिंगापुर के रक्षा मंत्री को क्षेत्रीय व्यापक आर्थिक भागीदारी (आरसीईपी) में शामिल नहीं होने के भारत के फैसले के बारे में भी बताया। दोनों नेताओं ने आसियान राज्यों के साथ द्विपक्षीय और बहुपक्षीय दोनों स्वरूपों में भारत की गहरी भागीदारी का स्वागत किया। इस संबंध में दोनों पक्षों ने सूचना साझाकरण और क्षमता निर्माण जैसे क्षेत्रों में सहयोग के लिए प्रतिबद्धता जताई।