पटना , 03 अक्टूबर (हि.स.)। बिहार विधानसभा चुनाव की घोषणा को एक सप्ताह बीत गये। पहले चरण में 71 सीटों पर नामांकन भी शुरू हो चुका है, लेकिन तमाम दावों के बीच एनडीए का स्वरूप अब तक तय नहीं है।
लोजपा और जदयू ने जायका बिगाड़ रखा है। बदलते राजनीतिक हालात और बनते-बिगड़ते समीकरण के बीच चिराग से एनडीए रोशन होता है या उस पर तीर चलता है, यह अभी तय होना है। हालांकि, सीटों की दावेदारी को लेकर भाजपा, जदयू और लोजपा का रगड़ा अंतिम चरण में दिख रहा है, इसके बावजूद लोजपा लगातार जदयू पर हमलावर है। इसी क्रम में शनिवार को लोजपा ने जदयू नेता एवं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ पोस्टर जारी कर सियासी पारा चढ़ा।
लोजपा ने पोस्टर में मोटे-मोटे अक्षरों में लिखा है कि मोदी से कोई बैर नहीं है, नीतीश तेरी खैर नहीं। पोस्टर में बिहार के विकास के नक्शे वाले बैकग्राउंड के साथ चिराग पासवान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ खड़े हैं। साथ ही चिराग के बिहार फर्स्ट के नारे को भी दर्शाया गया है। सीएम नीतीश कुमार को सत्ता की कुर्सी के सपने में चिंतित दिखाया गया है। नीतीश के बैकग्राउंड में कोविड-19 के दौरान दूसरे राज्यों से पैदल लौट रहे श्रमिकों की व्यथा और दयनीय स्थिति को दिखाया गया है।
नीतीश का सात निश्चय भ्रष्टाचार का पिटारा
एक दिन पहले शुक्रवार को लोजपा ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की महत्वाकांक्षी योजना सात निश्चय को भष्टाचार का पिटारा बताया था। लोजपा प्रवक्ता अशरफ अंसारी ने दावा किया था कि सात निश्चय के सभी कार्य अधूरे रह गए हैं। अभी तक जितने काम हुए हैं उसका भुगतान भी नहीं हुआ है। बिहार में अगली सरकार लोजपा के बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट विजन डॉक्यूमेंट को लागू करेगी। उल्लेखनीय है कि चिराग पासवान पीएम मोदी के फेस पर बिहार विधानसभा चुनाव लड़ने की बात कह चुके हैं। साथ ही समय-समय पर लोजपा के कार्यकर्ता चिराग को सीएम कैंडिडेट बताते रहे हैं।