मुंबई, 28 मई, (हि. स.)। कोरोना वायरस महामारी के कारण घोषित लॉकडाउन के दौरान, पश्चिम रेलवे का चिकित्सा विभाग कोविड-19 के इस भयावह समय से निपटने हेतु अपने सभी अस्पतालों को मुस्तैद कर सक्रिय रूप से अपने कर्तव्यों का निर्वहन बखूबी कर रहा है। इसी क्रम में पश्चिम रेलवे का जगजीवन राम अस्पताल आइसोलेशन वार्ड के लिए 172 बेड उपलब्ध कराकर युद्ध स्तर पर कोरोनावायरस के इलाज में अहम भूमिका निभा रहा है। अब तक इस अस्पताल में कुल 555 मरीजों का इलाज किया गया है, जिनमें से 341 मामले पॉजिटिव थे तथा 179 मरीजों को इलाज के पश्चात अस्पताल से छुट्टी दे दी गई। 150 अन्य संदिग्ध मामलों को उचित उपचार के पश्चात डिस्चार्ज कर दिया गया है। कोरोना वायरस महामारी तथा प्रभावित मरीजों के सफल एवं कारगर चिकित्सा प्रबंधन में मुख्य भूमिका अदा करते हुए पश्चिम रेलवे का जगजीवन राम अस्पताल मरीजों एवं उनके परिवारजनों के जीवन के लिए संजीवनी सिद्ध हो रहा है।
पश्चिम रेलवे के मुख्य जनसम्पर्क अधिकारी रविन्द्र भाकर ने बताया कि जगजीवन राम अस्पताल में संक्रमित क्षेत्रों के मरीजों एवं उनके परिवार जनों को उचित परामर्श प्रदान कर भर्ती किया जा रहा है। इसके लिए मेडिकल स्टाफ की एक समर्पित टीम फ्रंट लाइन में आकर बहादुर कोरोना योद्धाओं के रूप में कार्य कर रही है। इस टीम के डॉक्टरों में वरिष्ठ डॉक्टर अल्पा, डॉक्टर शिशिर, डॉक्टर शरण तथा डॉक्टर सविता, रेजिडेंट डॉक्टरों में डॉक्टर स्नेहल, डॉक्टर ओम, डॉक्टर सिद्धिका, डॉक्टर श्रवण कुमार, डॉ ऋषिकेश तथा डॉ कल्याणी के अलावा अन्य पैरामेडिकल कर्मचारी जैसे शैलेश, सुश्री रेशमा, संजय सिंह, गणेश एवं राजू मुख्य रूप से शामिल हैं। इस कठिन परिस्थिति के दौरान इनडोर मरीजों एवं आइसोलेशन वार्ड में कार्यरत कर्मचारियों की देखभाल के साथ-साथ मनोबल में वृद्धि करने हेतु जगजीवन राम अस्पताल में कई विशेष कदम उठाए जा रहे हैं।
भाकर ने कहा कि इन सभी का समर्पण और कड़ी मेहनत सराहनीय है, जबकि इन संरक्षकों की सुरक्षा करना भी उतना ही महत्वपूर्ण है और इसके लिए अस्पताल के ऐसे कर्मचारियों/स्वास्थ्य कर्मियों को मरीजों की देखभाल करने के दौरान संक्रमण होने पर उनकी देखभाल के लिए विशेष बेड भी आरक्षित रखे जा रहे हैं। अधिक से अधिक वार्डों में, जहां सम्भव है, एयर कंडीशनिंग की व्यवस्था की गई है। बाकी वार्डों में बड़ी खिड़कियों के साथ प्राकृतिक वेंटिलेशन उपलब्ध है। जगजीवन राम अस्पताल के कर्मचारियों को उनकी सेवा के जरिए उनके कठिन परिश्रम और समर्पण के लिए कुछ अच्छी प्रतिक्रियाएं प्राप्त हुई हैं। एन एफ रेलवे की एक कैंसर रोगी महिला, जो टाटा अस्पताल में इलाज करवा रही थी, के पति को कोविड पॉजिटिव हो गया। उनके पति अब ठीक हो गए हैं और उनको डिस्चार्ज भी कर दिया गया है और ट्रेन में पश्चिम बंगाल के लिए रवाना कर दिया गया है, उन्होंने जगजीवन राम अस्पताल की पूरी टीम को उनके द्वारा प्रदान की गई अच्छी देखभाल और मानवीय व्यवहार के लिए भूरि-भूरि प्रशंसा की। मुंबई पुलिस के एक कांस्टेबल सहित कुछ रोगियों ने सोशल मीडिया, वेबसाइट, फेसबुक पर जगजीवन राम अस्पताल के कर्मचारियों के अच्छे व्यवहार और शीर्ष श्रेणी के क्लिनिकल उपचार के बारे में पोस्ट किया है। एक और मरीज घर पर वीडियो कॉल के बाद बहुत खुश थे और उन्होंने जगजीवन राम अस्पताल की पूरी टीम की प्रशंसा की। डॉक्टरों और चिकित्सा कर्मचारियों की समर्पित टीमों ने घातक कोरोना वायरस से जूझ रहे कई लोगों के जीवन को सकारात्मक रूप से प्रभावित किया है और जगजीवन राम अस्पताल की टीम उनके लिए संजीवनी बूटी साबित हो रही है। पश्चिम रेलवे ने जगजीवन राम अस्पताल की पूरी टीम को अपने दृढ़ संकल्प और निर्भीक हौसलों के लिए बधाई दिया है।