‘सदगुरु’ के ईशा फाउंडेशन की जांच पर सुप्रीम कोर्ट ने लगाई रोक । हाईकोर्ट के आदेश पर कही बड़ी बात ।
सुप्रीम कोर्ट से आध्यात्मिक गुरु जग्गी वासुदेव यानि सदगुरु के ईशा फाउंडेशन को बड़ी राहत मिली है. देश की सर्वोच्च अदालत ने ईशा फाउंडेशन की जांच को लेकर मद्रास हाई कोर्ट के आदेश पर रोक लगा दी है.कोयंबटूर के रहनेवाले एस कामराज ने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर आरोप लगाया था कि उनकी दो बेटियों लता और गीता को ईशा योग केंद्र में जबरन संन्यासिनों की तरह रहने पर मजबूर किया गया है. और संस्था उन्हें अपने परिवार से मिलने नहीं दे रही है.कामराज ने ये भी कहा कि ईशा फाउंडेशन के खिलाफ कई आपराधिक शिकायत दर्ज हैं.
याचिका पर सुनवाई करते हुए मद्रास हाई कोर्ट ने तमिलनाडु सरकार को ईशा फाउंडेशन के खिलाफ दर्ज सभी आपराधिक मामलों का विवरण प्रस्तुत करने का निर्देश दिया था.
हाईकोर्ट के आदेश के खिलाफ ईशा फाउंडेशन ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी . इसपर सुनवाई करते हुए सीजेआई डी वाई चंद्रचूड़ की नेतृत्व वाली तीन जजों की बेंच ने कहा कि, हम पुलिस को दिए गए हाई कोर्ट के निर्देशों पर रोक लगाते हैं. कोर्ट ने कहा कि ये धार्मिक स्वतंत्रता के मुद्दे हैं और यह एक बहुत जरूरी और गंभीर मामला है. सद्गुरु के लाखों अनुयायी हैं. उच्च न्यायालय मौखिक दावों पर ऐसी जांच शुरू नहीं कर सकता है.