नई दिल्ली, 04 दिसम्बर (हि.स.)। भारतीय नौसेना का सूचना प्रबंधन और विश्लेषण केंद्र (आईएमएसी) राष्ट्रीय समुद्री डोमेन जागरुकता (एनएमडीए) केंद्र में तब्दील होगा। यह नेशनल कमांड कंट्रोल कम्युनिकेशन एंड इंटेलिजेंस सिस्टम का मुख्य केंद्र होगा जो समुद्रों में जहाजों को ट्रैक करने के साथ ही तटीय राडार से डेटा प्राप्त करेगा। इससे पूरे हिन्द महासागर में भारतीय नौसेना किसी भी जहाज को ट्रैक कर सकेगी। हिन्द महासागर क्षेत्र समुद्री यातायात के लिए वाणिज्यिक राजमार्ग है जिससे कई देशों के व्यापारिक जहाज गुजरते हैं। इन पर निगरानी के लिए इंटरनेशनल मैरीटाइम ऑर्गनाइजेशन (आईएमओ) ने स्वचालित पहचान प्रणाली (एआईएस) के ऑनबोर्ड ऑपरेशनल यूज के लिए गाइडलाइंस जारी की हैं।
रक्षा अधिग्रहण परिषद (डीएसी) से 2012 में अनुमोदन मिलने के बाद स्वचालित पहचान प्रणाली (एआईएस) को लगभग 450 करोड़ रुपये की लागत से 2014 में गुरुग्राम में स्थापित किया गया था। यह केंद्र ट्रांसपोंडर व्यापारी जहाजों, वायु और यातायात प्रबंधन प्रणाली और वैश्विक शिपिंग डेटाबेस हासिल करता है। दरअसल 26/11 के आतंकवादी हमले के बाद 20 मीटर से अधिक लंबे मछली पकड़ने के जहाजों पर एआईएस ट्रांसपोंडर स्थापित करने के लिए निर्देशित किया गया था। अब 20 मीटर से कम मछली पकड़ने वाले जहाजों को भी इसमें शामिल करने के प्रयास किए जा रहे हैं। सूत्रों का कहना है कि हिन्द महासागर क्षेत्र में मौजूद 12 हजार से अधिक मछली पकड़ने वाले जहाजों पर नज़र रखना बहुत बड़ी चुनौती है।