आईएमटी ने विश्वास बहाली के लिए जीडीए में जमा कराये पांच करोड़

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जीडीए उपाध्यक्ष कंचन वर्मा का कहना है कि राजनगर स्थित उक्त जमीन पर अवैध कब्जा के एवज में आईएमटी प्रबंधन को 70-80 करोड़ रुपये जीडीए को देना होगा। इस प्रकरण में इलाहाबाद हाईकोर्ट के दिशा-निर्देशों का पूरी तरह से अनुपालन होगा। 



गाजियाबाद, 23 जून (हि.स.)। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमल नाथ व उनके परिजनों द्वारा संचालित इंस्टिट्यूट ऑफ़ मैनेजमेंट टेक्नोलॉजी (आईएमटी) प्रबंधन ने गाजियाबाद विकास प्राधिकरण (जीडीए) में हाई कोर्ट के आदेश पर अमल करते हुए पांच करोड़ रुपये जमा कर दिए हैं। आईएमटी ने यह धनराशि जीडीए की विश्वास बहाली के लिए टोकनमनी के रूप में जमा कराई है। अब शासन स्तर पर आवंटन की प्रक्रिया शुरू हो सकेगी। जीडीए उपाध्यक्ष कंचन वर्मा का कहना है कि राजनगर स्थित उक्त जमीन पर अवैध कब्जा के एवज में आईएमटी प्रबंधन को 70-80 करोड़ रुपये जीडीए को देना होगा। इस प्रकरण में इलाहाबाद हाईकोर्ट के दिशा-निर्देशों का पूरी तरह से अनुपालन होगा।

नगर निगम में भाजपा के नेता सदन राजेंद्र त्यागी ने इस मामले में राज्य के मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर आईएमटी के अवैध कब्जे से जमीन को मुक्त कराने और वसूली की मांग की थी। इसके बाद जीडीए ने इस भूमि का आवंटन निरस्त कर दिया था जिसके खिलाफ आईएमटी प्रबंधन हाई कोर्ट गया था। हाई कोर्ट ने आईएमटी प्रबंधन को फौरी राहत देते हुए जीडीए के खाते में विश्वास बहाली के लिए 15 जुलाई तक पांच करोड़ रुपये इस शर्त पर जमा करने को कहा था कि इसके बाद ही आवंटन बहाली की प्रक्रिया शुरू होगी।
जीडीए के सचिव संतोष कुमार राय ने आईएमटी प्रबंधन द्वारा कोर्ट के अनुपालन में पांच करोड़ की धनराशि जमा कराने की पुष्टि करते हुए कहा कि अब शासन स्तर पर करवाई शुरू हो जाएगी।

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