पटना, 01 नवम्बर (हि.स.)। मुंगेर पुलिस फायरिंग में युवक की मौत और उसके बाद हुए बवाल को लेकी पुलिसकर्मियों के खिलाफ रविवार को दो केस दर्ज किये गए। इनमें एक केस मृतक के परिजनों ने दर्ज कराया है। साथ ही विगत 26 अक्टूबर को हुई इस घटना की जांच भी शुरू हो गई है।
कोतवाली थाना में श्रद्धालुओं पर फायरिंग और लाठीचार्ज को लेकर 25 अज्ञात पुलिसकर्मियों पर केस दर्ज किया गया है।मृतक के परिजन ने भी पुलिसकर्मियों पर हत्या का केस दर्ज कराया है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच कर रही है। घटना से सम्बंधित जो वीडियो वायरल हुआ है, उससे दोषी पुलिसकर्मियों की पहचान की जा रही है।
उल्लेखनीय है कि विगत 29 अक्टूबर को उग्र भीड़ ने मुंगेर के तीन थानों, पूरब सराय थाना, बासुदेवपुर ओपी और कोतवाली थाने को फूंक दिया था। इसके साथ ही दोनों थानों की दर्जनों गाड़ियों को भी भीड़ ने आग के हवाले कर दिया था। मुंगेर की तत्कालीन एसपी लिपि सिंह और एसडीपीओ के दफ्तर में भी लोगों ने जमकर तोड़फोड़ की थी । बताया जा रहा है कि पांच से अधिक थानों पर भीड़ ने हमला और पथराव किया था। दरअसल, मुंगेर में दीन दयाल चौक के पास पुलिस के जबरन मूर्ति विसर्जन कराने पर लोगों ने विरोध किया तो पुलिस ने लाठीचार्ज कर किया और फिर पुलिस ने फायरिंग कर शुरू दी। एक युवक के सिर में गोली लगी जिससे उसकी मौत हो गई थी। इसके अलावा अन्य पांच अन्य लोग भी पुलिस की गोली लगने से गंभीर रूप से घायल हुए थे। लोगों का कहना है कि पहले से यह परंपरा रही है कि पहले बड़ी देवी का मूर्ति विसर्जन होता है, उसके बाद ही छोटी मूर्ति का विसर्जन किया जाता है लेकिन पुलिस जबरन मूर्ति विसर्जन कराना चाह रही थी।