ब्रसेल्स, 24 जून (हि.स.)। लैटिन अमेरिकी देशों, खास तौर पर वेनेजुएला के शरणार्थियों की वजह से यूरोपीय संघ में शरण मांगने वालों की संख्या में एक बार फिर बेतहाशा वृद्धि हुई है। लेकिन शरणार्थियों का यह प्रवाह यूरोप में साल 2015 के आव्रजक संकट की तुलना में कम है। यह खुलासा सोमवार को एक रिपोर्ट से हुआ है।
समाचार एजेंसी रॉयटर्स ने यूरोपीय शरण समर्थन कार्यालय की ओर से जारी रिपोर्ट के हवाले से कहा है कि इस साल पहले पांच महीनों में यूरोपीय मुक्त व्यापार क्षेत्र में अब तक दो लाख नब्बे हजार शरणार्थियों केआवेदन प्रप्त हुए हैं जो साल 2018 की तुलना में 11 प्रतिशत अधिक है। विदित हो कि यूरोपीय संघ मुक्त व्यापार क्षेत्र में संघ के 28 सदस्य देशों के अलावा नॉर्वे, स्विट्जरलैंड और लिकटेंस्टीन शामिल हैं।
यूरोपीय शरण समर्थन कार्यालय के मुताबिक, राजनीतिक और आर्थिक संकट की वजह से वेनेजुएला और अन्य लैटिन अमेरिकी देशों से बड़ी संख्या में लोग यूरोप की ओर पलायन कर रहे हैं जिससे शरण चाहने वालों की संख्या में अप्रत्याशित वृद्धि हुई है।
रिपोर्ट के मुताबिक, जनवरी से मई महीने तक सिर्फ वेनेजुएला से 18 जार से ज्यादा आवेदन आए हैं जो इसी अवधि में पिछले साल की तुलना में करीब दोगुना है। अगर राष्ट्रीयता के आधार पर देखा जाए तो यूरोप में शरण चाहने वालों में सीरिया के बाद वेनजुएला के लोग दूसरे स्थान पर हैं।
उल्लेखनीय है कि वेनेजुएला महाआर्थिक संकट से गुजर रहा है और राजनीतिक अस्त व्यस्ता की वजह से यह संकट और भी गहरा गया है। हाल के वर्षों में वेनेजुएला से करीब तीस लाख लोग पलयन कर पड़ोसी देशों में शरण लिए हुए हैं जो दक्षिण अमेरिकी इतिहास में सर्वाधिक है।