दिल्लीः 3282 वाहन चालकों का चालान कटा होली के दिन
नई दिल्ली, 30 मार्च (हि.स.)। दिल्ली पुलिस की ट्रैफिक पुलिस की मुस्तैदी के चलते होली के मौके पर दिल्ली की सड़कों पर लोग नियमों का पालन करते हुए दिखे। वहीं जिन लोगों ने ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन किया, उनका चालान किया गया है। इस वर्ष होली के दिन कुल 3282 वाहन चालकों का चालान काटा गया। इनमें से100 वाहन चालक ऐसे हैं जो शराब के नशे में गाड़ी चला रहे थे। वर्ष 2020 में होली के दिन शराब पीकर गाड़ी चलाने वाले 647 चालक पकड़े गए थे।
सार्वजनिक जगहों पर होली मनाने पर पाबंदी
दिल्ली पुलिस के एडिशनल प्रवक्ता अनिल मित्तल ने बताया कि कोरोना को ध्यान में रखते हुए लोगों से अपील की गई थी कि वह घर पर ही रहकर त्योहार मनाएं। इसके अलावा लोगों से ट्रैफिक नियमों का पालन करने के लिए भी कहा गया था। सार्वजनिक जगहों पर होली मनाने को लेकर पाबंदी थी। इसके लिए तीन हजार से ज्यादा ट्रैफिक पुलिस के जवान दिल्ली के विभिन्न इलाकों में तैनात किए गए थे। उनके साथ स्थानीय पुलिस और पीसीआर की टीम भी थी, ताकि उल्लंघन करने वालों पर सख्त एक्शन लिया जा सके।
शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की संख्या में आई कमी
दिल्ली ट्रैफिक पुलिस के अनुसार, इस वर्ष शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की धरपकड़ के लिए 100 से ज्यादा टीमों को लगाया गया था। कोरोना के चलते इस बार एल्कोमीटर के साथ जांच नहीं की गई थी। ट्रैफिक पुलिस ने केवल उन्हीं लोगों को शराब पीकर गाड़ी चलाते हुए पकड़ा जो नशे में लग रहे थे। ट्रैफिक पुलिस ने सोमवार को ड्रंकन ड्राइविंग के 100 चालान किये हैं, जबकि वर्ष 2020 में 647 लोगों को शराब पीकर गाड़ी चलाते हुए पकड़ा गया था। वर्ष 2019 में होली पर 1736 ऐसे वाहन चालकों को पकड़ा था, जबकि वर्ष 2018 में यह संख्या 1560 थी।
बिना हेलमेट दुपहिया चलाने वालों की संख्या बढ़ी
होली के मौके पर सबसे ज्यादा चालान प्रत्येक वर्ष बिना हेलमेट दुपहिया चलाने वालों के होते हैं। सोमवार को होली के मौके पर बिना हेलमेट दुपहिया चला रहे 1255 लोगों का चालान किया गया। जबकि वर्ष 2020 में होली के दिन यह संख्या 1192 थी। वहीं वर्ष 2019 में होली के दिन ऐसे 5092 लोगों के चालान किये गए थे। इसी क्रम में ट्रिपल राइडिंग करने वालों की संख्या में इस बार मामूली कमी आई है। वर्ष 2020 में जहां 181 दुपहिया चालक ट्रिपल राइडिंग में पकड़े गए थे। वहीं इस वर्ष उनकी संख्या 170 रही है। खतरनाक ढंग (जिक-जैक) से गाड़ी चलाने वालों की संख्या भी बीते वर्ष के 156 के मुकाबले घटकर 121 रही। अन्य चालान की संख्या इस बार 1636 रही है।