​इस स्वतंत्रता दिवस पर ‘आत्मनिर्भरता’ के संकल्प की जरूरत: राजनाथ

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‘आत्मनिर्भरता सप्ताह’ के समापन दिवस पर ‘सृजन’ पोर्टल लॉन्च



 नई दिल्ली, 14 अगस्त (हि.स.)।रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा है कि इस बार बहुत सोच-समझकर ‘स्वतंत्रता दिवस’ की थीम ‘आत्मनिर्भर भारत’ रखी गयी है, जो हमारे इन्हीं संकल्पों और उद्देश्यों को दोहराती है। हमारा उद्देश्य हो कि ‘स्वतंत्रता’ महज एक सिद्धांत न होकर हमारा व्यवहार हो, हमारी आदत हो। ‘स्वतंत्रता’ को हम बस पढ़ें और सुनें नहीं बल्कि उसे महसूस करे। यह तभी संभव होगा जब हम स्वयं अपनी सुरक्षा करने में सक्षम होंगे।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शुक्रवार को ‘आत्मनिर्भरता सप्ताह’ के समापन दिवस पर ‘सृजन’ पोर्टल लॉन्च किया। इससे उन स्वदेशी वस्तुओं की जानकारी मिल सकेगी जो निजी क्षेत्र द्वारा उत्पादित किए जा सकते हैं। राजनाथ सिंह ने कहा ‘रक्षा के क्षेत्र में हमारी कितनी स्वाधीनता है? क्या उस राष्ट्र को पूरा स्वतंत्र कहा जा सकता है जो आज भी अपनी सुरक्षा जरूरतों के लिए दूसरे देशों पर निर्भर है? दूसरों पर निर्भरता क्या एक सच्चे और मजबूत लोकतंत्र के अनुकूल है? आज हमें आत्मनिर्भरता के संकल्प की जरूरत है। इसलिए आज का दिन, ‘आत्मनिर्भरता सप्ताह’ के समापन का दिन नहीं है बल्कि ‘आत्मनिर्भरता के एक नए युग’ की शुरुआत का दिन है। जब हम अपनी स्वाधीनता के 73 बरस पूरे कर रहे हैं तो हमें इतिहास को देखने और उससे सीख लेते हुए भविष्य के बारे में गंभीरता से सोचने की भी जरूरत है।’
 
रक्षा मंत्री ने कहा कि किसी भी बड़े बदलाव के लिए उठाया गया कदम भले ही छोटा क्यों न हो, पर उसका महत्त्व हमेशा रहता है जो लंबे समय तक इतिहास में दर्ज़ रहता है। हमारे देश ने सीमित संसाधनों में भी न केवल युद्ध, रक्षा, बल्कि शिक्षा, स्वास्थ्य, खेल, विज्ञान और अनुसंधान जैसे कई क्षेत्रों में ऐसे रिकॉर्ड कायम किए हैं, जिनके बारे में पहले हम सोच भी नहीं सकते थे। इसीलिए रक्षा उद्योग को हमने केवल घरेलू आवश्यकता के नजरिए से नहीं देखा है। बल्कि आगे कहीं उन्हें निर्यात करने का भी हमारा सपना है, जो आने वाले समय में इस तरह के सम्मिलित प्रयासों से ही पूरे हो सकेंगे।
राजनाथ सिंह ने बताया कि इस पोर्टल पर डीपीएसयू, ओएफबी, एसएचक्यू अपनी उन वस्तुओं को प्रदर्शित कर सकते हैं जो आयात किए गए हैं या आयात करने जा रहे हैं। इससे भारतीय उद्योग अपनी क्षमता के अनुसार या मूल उपकरण निर्माता के साथ संयुक्त उद्यम के माध्यम से डिजाइन, विकसित और निर्माण कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि आज लॉन्च हुए इस पोर्टल से विभिन्न प्रकार के आयातित रक्षा आइटम, घटकों, पुर्जों और उपकरणों ​​के स्वदेशीकरण को बढ़ावा मिलेगा। यह पोर्टल उन मदों की जानकारी मुहैया कराएगा जिनका वर्तमान में डीपीएसयू और ओएफबी आयात करते हैं या आगे करने की योजना है। सेवा मुख्यालय भी आयात की जा रही वस्तुओं के विवरण अपलोड करने की प्रक्रिया में हैं।

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