कानपुर, 22 फरवरी (हि.स.)। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने सोमवार को पांचवा बजट पेश किया। बजट में हर वर्ग को खुश करने की कोशिश की गयी और विकास को लेकर भी अनुमानित लागत का संतुलन बनाया गया। इसमें औद्योगिक नगरी कानपुर भी अछूता नहीं है और यहां पर बन रही मेट्रो परियोजना को 597 करोड़ रुपये आवंटित किये गये। इससे संभावना है कि मेट्रो के निर्माण कार्य में रुकावट नहीं आएगी और इस वर्ष के जुलाई माह में मेट्रो का ट्रायल हो सकेगा।
औद्योगिक शहर कानपुर में यातायात जाम की समस्या आम है और इससे निजात दिलाने के लिए सपा सरकार में मेट्रो परियोजना का खाका खीचा गया, हालांकि सपा सरकार के जाने के बाद यह कयास लग रहे थे कि परियोजना अधर में लटक जाएगी। लेकिन ऐसा नहीं हुआ और योगी सरकार परियोजना को आगे बढ़ाने के लिए दो वर्ष पूर्व अनुमोदित लागत को हरी झंडी दे दी और खुद कानपुर आकर शिलान्यास कर दिया। इसके बाद कानपुर मेट्रो कॉरपोरेशन के एमडी कुमार केशव की देखरेख में निर्धारित समय में तैयार करने के लिए तेजी से कार्य होने लगा। पहले चरण के तहत आईआईटी से लेकर मोतीझील तक काफी हद तक काम हो चुका है और दूसरे चरण बड़े चौराहे के लिए भी कार्य शुरु हो गया है।
सोमवार को उत्तर प्रदेश का जब बजट विधानसभा में पेश हो रहा था तो कानपुरवासियों की निगाहें मेट्रो के बजट पर टिकी रहीं। लोगों को आशंका थी कि कहीं मेट्रो निर्माण कार्य में बजट का रोना सामने न आ जाये, पर ऐसा हुआ नहीं। वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने कानपुर मेट्रो के लिए इस बजट में 597 करोड़ रुपये आवंटित कर दिये। इससे अब पूरी संभावना है कि इस वर्ष 31 जुलाई तक कानपुर मेट्रो का ट्रायल शुरु हो जाएगा। वहीं आगरा मेट्रो परियोजना के लिए भी 478 करोड़ रुपये प्रस्तावित किये गये हैं। बताते चलें कि कानपुर मेट्रो रेल परियोजना की अनुमोदित लागत 11,076 करोड़ रुपये है।