पंचायत चुनाव : बोगस मतदान पर रोक के लिए सभी बूथ पर लगेंगे बायोमैट्रिक सिस्टम
बेगूसराय, 22 सितम्बर (हि.स.)।पंचायत चुनाव में बोगस मतदान करने और कराने की उम्मीद पाले लोगों को निर्वाचन आयोग ने जोरदार झटका दिया है। किसी भी हालत में, कोई भी ना तो बोगस मतदान कर सकेंगे और ना ही दोबारा वोटिंग कर सकेंगे, इसके लिए सभी मतदान केंद्रों पर बायोमैट्रिक सिस्टम लगाए जाएंगे।
राज्य निर्वाचन आयोग से प्राप्त निर्देश के आलोक में जिला प्रशासन ने मतदाताओं का मतदान केंद्रों पर बायोमैट्रिक विधि से सत्यापन से संबंधित की जाने वाली आवश्यक तैयारी तेज कर दिया है। डीएम ने समीक्षा बैठक कर अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिया है। समीक्षा के दौरान डीएम ने पंचायती राज पदाधिकारी को इसके लिए चयनित एजोंसियों से समन्वय कर बायोमैट्रिक विधि से सत्यापन के लिए कर्मियों का आकलन करते हुए सभी तैयारी पूरी करने का निर्देश दिया है।
इस संबंध में व्यापक तौर पर मतदाता जागरूकता अभियान चलाने का भी निर्देश दिया गया है। डीएम अरविंद कुमार वर्मा ने बताया कि पंचायत चुनाव में प्रत्येक मतदान केन्द्र पर बायोमैट्रिक सत्यापन की व्यवस्था की गई है, ताकि मतदाता द्वारा अपने मतदान केन्द्र के अतिरिक्त अन्य किसी भी मतदान केन्द्र पर दोबारा मतदान करना संभव नहीं हो सके। बोगस वोटिंग को पूरी तरह से रोकने के उद्देश्य से प्रत्येक मतदान केन्द्र पर मतदाताओं का बायोमैट्रिक्स सत्यापन कराया जाएगा।
बायोमैट्रिक सत्यापन प्रक्रिया के तहत प्रत्येक मतदान केन्द्र पर एक तकनीकी कर्मी बायोमेट्रिक उपकरण एवं टेबलेट के साथ प्रतिनियुक्त होंगें, जो मतदाता का अंगूठे का निशान, उनका फोटो, इपिक या अन्य वैकल्पिक पहचान-पत्र तथा मतदाता पर्ची का डेटाबेस सुरक्षित करेंगे। यदि कोई मतदाता किसी भी मतदान केन्द्र पर दोबारा मत डालने आएंगे, तो सिस्टम उस व्यक्ति की तुरंत पहचान कर लेगा तथा उसे बोगस मतदाता के रूप में चिन्हित कर विवरण के साथ अलर्ट भेजेगा।
इससे बोगस एवं डुप्लीकेट मतदान पर रोक लगाई जा सकेगी। मतदाता वैकल्पिक पहचान-पत्र दस्तावेज के रूप में आधार कार्ड लेकर आएंगे तो आधार संख्या एवं फिंगरप्रिंट से त्वरित सत्यापन हो सकेगा। आधार सत्यापन में संपूर्ण विवरणी एक बार मतदान करने समय सुरक्षित हो जाएगी। उसके बाद वह व्यक्ति जिला के किसी भी अन्य मतदान केन्द्र पर दुबारा मतदान नहीं कर सकेगा। सत्यापन संबंधी डाटा क्लाउड पर होस्टेड केन्द्रीय सर्वर पर संग्रहित होगा, इसलिए अगर मतदाता किसी अन्य मतदान केन्द्र पर भी मतदान करना चाहे तो बायोमेट्रिक सत्यापन से उसकी पहचान तत्काल हो सकेगी।
टैब के माध्यम से प्रत्येक दो घंटे पर वोटर टर्न आउट (पुरूष-महिला की संख्या) प्राप्त हो सकेगा। मतदान के अंत में सिस्टम पर कितने मतदाताओं के द्वारा मत का प्रयोग किया गया, यह भी पता चलेगा। बायोमैट्रिक सत्यापन के लिए ब्रॉडकास्ट इंजीनियरिंग कंसल्टेंटस, इंडिया लिमिटेड को प्राधिकृत किया गया है। कंपनी द्वारा कॉमन सर्विस सेन्टर के तकनीकी कर्मियों के साथ मिलकर इस कार्य को क्रियान्वित किया जाएगा। बायोमैट्रिक सत्यापन के लिए प्रतिनियुक्त कर्मियों के अलावे प्रत्येक पंचायत स्तर पर एक कर्मी, प्रखण्ड स्तर पर एक वरीय कर्मी एवं जिला स्तर पर एक वरीयतम कर्मी को मॉनिटरिंग के लिए प्रतिनियुक्त रहेंगे।मतदान केंद्रों के पीठासीन पदाधिकारी एक दिन पूर्व बायोमैट्रिक सिस्टम को चेक कर लेंगे, ताकि मतदान के समय बाधा नहीं हो।