जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में बीडीसी चुनाव आखिरी दौर में, बेखौफ होकर हुआ मतदान

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आतंकियों तथा अलगाववादियों की धमकियों का कोई असर देखने को नहीं मिला



जम्मू, 24 अक्टूबर (हि.स.)। अनुच्छेद 370 हटाये जाने के बाद पहली बार जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में पंचायती राज व्यवस्था मजबूत बनाने के लिए ब्लॉक विकास परिषद (बीडीसी) के लिए बेख़ौफ़ होकर सुबह 9 बजे से शुरू हुआ मतदान अब अपने आखिरी चरण में है। जम्मू संभाग में 12 बजे तक 70 प्रतिशत से अधिक मतदाता अपना वोट डाल चुके हैं। आखिरी एक घंटे में मतदान में तेजी आई है और यहां 90 प्रतिशत तक मतदान होने की उम्मीद जताई जा रही है। शाम चार बजे चुनाव परिणामों की घोषणा की जाएगी। पूरे चुनाव में आतंकियों तथा अलगाववादियों की धमकियों का कोई असर देखने को नहीं मिला है।
कश्मीर संभाग में भी कड़ी सुरक्षा के बीच पंच-सरपंच बेखौफ होकर मतदान केंद्रों में वोट डालने के लिए पहुंच रहे हैं। गांदरबल, बडगाम के इलाकों में मतदान केंद्रों के बाद कतारें देखने को मिल रही हैं। अन्य इलाकों में भी पंच-सरपंच थोड़ी-थोड़ी देर बाद पहुंच रहे हैं और वहां पर भी आतंकियों तथा अलगाववादियों की धमकियों का कोई असर देखने को नहीं मिला। कठुआ जिले में कई जगहों पर 12 बजे तक मतदान प्रक्रिया समाप्त हो गई। कठुआ जिले के 18 ब्लॉकों में जारी ब्लॉक डेवलपमेंट काउंसिल के चुनाव में चेयरमैन के पद के लिए सुबह 9 बजे से शुरू हुई मतदान प्रक्रिया 12 बजे तक सुचारु चली। किसी भी मतदान केंद्र में मतदान प्रक्रिया में बाधा नहीं आई।
मतदान को लेकर उत्साह इतना रहा कि कई मतदान केंद्रों में 11 से 12 बजे तक ही मतदान प्रक्रिया पूरी हो चुकी थी। सभी मतदान केंद्रों में सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए हैं। मतदान केंद्रों में किसी को भी बिना पहचान पत्र के जाने की अनुमति नहीं है। जिला चुनाव अधिकारी ओपी भगत ने सुचारु चुनाव की जानकारी लेने के लिए बरनोटी, कठुआ, नगरी सहित कई मतदान केंद्रों का दौरा भी किया। अनुच्छेद 370 हटाये जाने के बाद राज्य में पहली बार हो रहे ब्लॉक डेवलपमेंट काउंसिल (बीडीसी) चुनाव में 283 ब्लॉकों के चेयरपर्सन चुने जाने हैं। हालांकि 27 निर्विरोध चुने जा चुके हैं। कुल मिलाकर परिषद में 310 प्रतिनिधि होंगे। सुबह नौ बजे शुरू हुई चुनावी प्रक्रिया में अपनी मत डालने के लिए पंच-सरपंच मतदान केंद्र पहुंचना शुरू हो गए थे।
जम्मू कश्मीर पंचायत राज अधिनियम 1989 के तहत हो रहे बीडीसी चुनाव में वैसे तो 1092 उम्मीदवार मैदान में थे परंतु उनमें से 27 पहले ही निर्विरोध चुने जा चुके हैं। 1065 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला भी आज ही हो जायेगा। जिन उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला आज होगा उनमें जम्मू संभाग के डोडा में 74, किश्तवाड़ में 44, रामबन में 39, ऊधमपुर में 58, कठुआ में 72, सांबा में 36, जम्मू में 82, राजौरी में 76 और पुंछ में 61 उम्मीदवार शामिल हैं। कश्मीर में भाग्य आजमाने वालों में से कुपवाड़ा में 101, बारामुला में 90, बांडीपोर में 26, गांदरबल में 28, श्रीनगर में 5, बडगाम में 58, पुलवामा में 11, शोपियां में 4, कुलगाम में 18 और अनंतनाग में 55 उम्मीदवार शामिल हैं। लद्दाख संभाग के लेह में 36 व करगिल जिले में 38 उम्मीदवार अपना भाग्य आजमा रहे हैं।
जम्मू संभाग में भी सुबह से ही मतदान करने को लेकर काफी गहमागहमी देखने को मिली। मतदान की यह प्रक्रिया दोपहर एक बजे तक चली। 283 ब्लॉकों में होने वाले मतदान में 26629 पंच- सरपंच वोट तकरीबन डाल चुके हैं। ये मतदाता 1065 पंच-सरपंचों के भाग्य का फैसला कर चुके हैं जिसकी घोषणा गुरुवार यानि आज शाम चार बजे हो जाएगी। बीसीडी चुनावों से पहले ही नेशनल कांफ्रेंस, पीडीपी और कांग्रेस ने बहिष्कार की घोषणा कर दी थी। ऐसे में यह चुनावी मुकाबला अब भाजपा, पैंथर्स पार्टी और आजाद उम्मीदवारों में हो रहा है। चुनाव में 853 निर्दलीय उम्मीदवार हैं जबकि 239 विभिन्न राजनीतिक दलों से संबंध रखते हैं।

 


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