नई दिल्ली, 31 दिसम्बर (हि.स.)। केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने गुरुवार को एग्री इंडिया हैकथॉन के पहले संस्करण का शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि इनोवेशन व स्टार्टअप्स गांव-गांव पहुंचने से छोटे किसानों का कल्याण होगा और खेती के क्षेत्र में बड़ा सकारात्मक बदलाव आएगा। इस तरह के आयोजन से कृषि क्षेत्र की ताकत बढ़ेगी।
केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय एवं पूसा कृषि, आईसीएआर-आईएआरआई द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित करते हुए तोमर ने कहा कि कृषि क्षेत्र को विकसित करने, अनुसंधान तथा नवाचार की दृष्टि से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कई विषयों पर ध्यान आकर्षित करते हुए एग्री इंडिया हैकथॉन के आयोजन का सुझाव दिया था। प्रधानमंत्री का इस बात पर जोर है कि डिजिटल प्रौद्योगिकियों का उपयोग करके कृषि अर्थव्यवस्था को बढ़ाया जाएं और कृषि की समस्याएं एग्री हैकथॉन के माध्यम से भी हल की जाएं।
कृषि मंत्री ने विश्वास जताया कि एग्री इंडिया हैकथॉन के माध्यम से, हमारे युवा रचनात्मक स्टार्टअप्स व स्मार्ट इनोवेटर्स के साथ कृषि क्षेत्र की बड़ी समस्याओं से निपटने में योगदान देंगे। यह प्रथम आयोजन कृषि के मौजूदा ढांचे के उत्थान और किसानों की आय बढ़ाने तथा समग्र रूप से उनके कल्याण के बड़े मिशन की दिशा में काम करने के लिए राष्ट्रीय स्तर का एक अनूठा प्रयास है।
उन्होंने कहा कि कृषि प्रधान हमारे देश में आधी आबादी कृषि पर निर्भर है। कृषि व गांव ये हमारी ताकत हैं। हमारे गांवों का ताना-बाना प्रतिकूल परिस्थितियों में भी बना रहा है, कोविड में भी किसानों ने इसे जीवंत बनाए रखा। कृषि क्षेत्र ने अर्थव्यवस्था में योगदान देते हुए अपनी प्रासंगिकता सिद्ध की है। हम सभी को यह सुनिश्चित करना है कि कृषि का क्षेत्र और मुनाफे में कैसे आए, युवाओं का आकर्षण खेती की तरफ कैसे बढ़े, फसलों का विविधीकरण कैसे हो, फर्टिलाइजर का उपयोग धीरे-धीरे कम हो, हम जैविक खेती व सूक्ष्म सिंचाई की ओर तेजी से बढ़ें, खेती में लागत कम हो, महंगी फसलों की तरफ जाएं, इन बातों पर जोर देना होगा। उन्होंने कहा कि किसानों के परिश्रम में कोई कमी नहीं है, आज जरूरत इस बात की है कि कृषि क्षेत्र में नए आयाम जुड़ें। इस दृष्टि से एग्री स्टार्टअप्स का बहुत बड़ा योगदान हो सकता है।
कृषि मंत्री ने कहा कि इनोवेशन के लिए पीएम ने युवा पीढ़ी को उत्साहित किया। इस दिशा में युवा आगे बढ़ भी रहे हैं।वैज्ञानिक नित-नए अनुसंधान कर उत्पादकता बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं। क्लाइमेंट चेंज से उपजी चुनौतियों का मुकाबला करने पर हमारा ध्यान लगा हुआ है,। साथ ही इसमें नवाचार की महत्वपूर्ण भूमिका है, क्योंकि हमारा देश युवा देश है, युवा ऊर्जा है, उसका सदुपयोग हो। कृषि व फूड प्रोसेसिंग के क्षेत्र में युवाओं की भागीदारी जरूरी है, क्योंकि ये क्षेत्र देश की अधिक आबादी को रोजगार भी उपलब्ध करा सकते है।
तोमर ने कहा कि हमें ध्यान रखने की जरूरत है कि छोटे किसान, जो 86 प्रतिशत हैं, वे खेती-किसानी में कैसे बने रहें व मुनाफे की खेती कैसे कर सकें। सरकार ने इस दृष्टि से 10 हजार नए एफपीओ बनाना शुरू किए हैं, जिन पर 6,850 करोड़ रु. खर्च किए जाएंगे। कृषि के क्षेत्र में निजी निवेश लाते हुए गैप्स की भरपाई करने की कोशिश की जा रही है।
एग्री इंडिया हैकथॉन
यह कार्यक्रम मौजूदा कृषि पारिस्थितिकी तंत्र के उत्थान और किसानों की आय और उनके समग्र कल्याण को बढ़ाने के बड़े उद्देश्य की दिशा में काम करने के लिए राष्ट्रीय स्तर का एक प्रयास है। यह मंच छात्रों व युवा स्टार्ट-अप को अपने नवाचार और रचनात्मकता को व्यक्त करने का मौका देगा। यह आयोजन 60 दिनों के लिए होगा, जिसमें देशभर के तीन हजार से अधिक नवाचार, पांच हजार से ज्यादा प्रतिभागी, 100 से ज्यादा विचारक, एक हजार से अधिक स्टार्ट-अप होंगे।