नई दिल्ली, 08 सितंबर (हि.स.)। साख निर्धारण एजेंसी एस एंड पी ग्लोबल रेटिंग्स ने कहा कि भारत की आर्थिक वृद्धि दर आने वाली तिमाहियों में मजबूत रहेगी, जिससे चालू वित्त वर्ष में आर्थिक वृद्धि दर 9.5 फीसदी रहने का अनुमान है। हालांकि, एजेंसी का मानना है कि खाद्य वस्तुओं के दाम में तेजी की वजह से महंगाई दर ऊंची रह सकती है।
रेटिंग्स एजेंसी ने बुधवार को कहा कि वित्त वर्ष 2021-22 में आर्थिक वृद्धि दर 9.5 फीसदी रहने का अनुमान है जबकि अगले वित्त वर्ष 2022-23 में यह दर 7 फीसदी रह सकती है। एजेंसी का कहना है कि आने वाले समय में राजकोषीय मजबूती सुनिश्चित करने के लिए बाजार मूल्य पर ऊंची सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) वृद्धि दर महत्वपूर्ण होगी।
रेटिंग्स एजेंसी के निदेशक (सरकारी) एंड्रयू वूड ने कहा कि ‘भारत के राजकोषीय घाटे की कमजोर स्थिति और जीडीपी के मुकाबले कर्ज 90 फीसदी के करीब पहुंचने के मद्देनजर राजकोषीय स्थिति में गिरावट को रोकने तथा इसे सुदृढ़ करने के लिए बाजार मूल्य पर जीडीपी वृद्धि दर महत्वपूर्ण है।’ उन्होंने कहा कि राजकोषीय घाटा अगले दो वर्ष तक ऊंचा बना रहेगा लेकिन कर्ज और जीडीपी अनुपात स्थिर होने का अनुमान है।