चेक बाउंस होना अपराध तो तीन तलाक के नाम पर महिलाओं से ज्यादती अपराध क्यों नहीं: पीयूष गोयल

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नई दिल्ली, 02 जनवरी (हि.स.)। केंद्रीय रेलमंत्री पीयूष गोयल ने कहा है कि जब चेक बाउंस होना अपराध है तो फिर तीन तलाक के नाम पर मुस्लिम महिलाओं के साथ की जा रही ज्यादती अपराध क्यों नहीं है? बुधवार को गोयल ने यह बातें राज्यसभा में एक सवाल के जवाब में कहीं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस चाहती है कि मुस्लिम महिलाओं पर लगातार अत्याचार जारी रहे और इसीलिए वह इस विधेयक का लगातार विरोध कर रही है।
तीन तलाक विधेयक के लोकसभा से पारित होने के बाद जब सोमवार को राज्यसभा में पेश किया गया तो इसे लेकर कांग्रेस सहित सभी विपक्षी दलों ने जमकर हंगामा किया। इस वजह से सदन की कार्यवाही लगातार बाधित रही। बाद में बुधवार को भी कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद द्वारा यह विधेयक राज्यसभा में पेश किया गया लेकिन तब भी विधेयक पर हंगामे के कारण उस पर चर्चा नहीं हुई और सदन की कार्यवाही गुरुवार तक के लिए स्थगित कर दी गई।
गोयल ने कहा कि तीन तलाक कोई छोटी समस्या नहीं है। यह एक बड़ी समस्या है। इस देश में एक 500 रुपये का चेक बाउंस होना अपराध है लेकिन मुस्लिम महिलाओं के साथ तीन तलाक के नाम पर की जा रही ज्यादती अपराध की श्रेणी में आती है। गोयल ने कहा कि सभी मुस्लिम देश तीन तलाक को अपराध मानकर कानून बना चुके हैं। इसलिए ये धर्म का विषय नहीं है। यह मुस्लिम बहनों के अधिकार का मुद्दा है।
गौरतलब है कि लोकसभा में तीन तलाक बिल को मंजूरी मिल चुकी है। विधेयक के पक्ष में 245 वोट पड़े थे जबकि इस विधेयक के विपक्ष में 11 वोट पड़े थे। विपक्ष ने वोटिंग के दौरान सदन से वॉकआउट कर दिया था। राज्यसभा में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का संख्या बल पहले की तुलना में काफी बढ़ा है। इसके बावजूद इतना नहीं है कि वह विपक्ष के सहयोग के बिना विधेयक को पास करा सके। राज्यसभा में कुल सदस्यों की संख्या 244 है और उनमें से 4 सदस्य नामित हैं।
फिलहाल, राज्यसभा में मौजूदा संख्या बल के अनुसार राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के पास 90 सदस्य हैं। इनमें भाजपा के 73, शिवसेना के तीन, अकाली दल के तीन, बोडोलैंड पीपुल्स फ्रंट, सिक्किम डेमोक्रेटिक फ्रंट, नगा पीपल्स फ्रंट और रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (आऱपीआई) के एक-एक तथा सात निर्दलीय सांसद हैं।


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