सऊदी अरब की प्रताड़ित महिला रहाफ सकुशल कनाडा पहुँची

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टोरंटो, 13 जनवरी (हि.स.)| सऊदी अरब की प्रताड़ित महिला रहाफ मुहम्मद अल-कुनून थाईलैंड से शनिवार की दोपहर बाद कनाडा पहुँच गई है। अठारह वर्षीय रहाफ थाईलैंड में एक सप्ताह तक फँसे रहने के बाद टोरंटो पहुँच गई है। वह लंबी यात्रा के कारण थकी-मांदी थीं। उसने हवाई अड्डे पर पत्रकारों से बातचीत करने से इनकार कर दिया। हवाई अड्डे पर कनाडा की विदेश मंत्री क्रिसटिया फ़्रीलैंड ने आगे बढ़ कर रहाफ का स्वागत किया। फ़्रीलैंड ने पत्रकारों से परिचय कराते हुए बताया, ‘यह है कनाडा की नयी बहादुर लड़की।’ इस से पूर्व कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन त्रूदो ने पत्रकारों को बताया था कि संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी आयोग की सिफ़ारिश के आधार पर रहाफ को शरणार्थी का दर्जा दिया जा चुका है। रहाफ ने पिता से मनमुटाव और परिवार से प्रताड़ना के कारण आस्ट्रेलिया जाने और वहाँ शरणार्थी का दर्जा लेने का मन बनाया था, लेकिन उसे अगली उड़ान भरने से पहले ही बैंकाक में रोक लिया गया था। वह हवाई अड्डे पर स्थित होटल में बंद रही। उसे बताया गया था कि उसके पिता कुवैत में इंतज़ार कर रहे हैं, वह वापस लौट जाए। लेकिन रहाफ ने कुवैत लौटने और अपने पिता और भाई से मिलने से इनकार कर दिया। रहाफ एक कोरियन एयर फ़्लाइट से पियर्सन इंटरनेशनल, सियोल होते हुए कनाडा पहुँची। उसने अपने ट्वीट में लिखा था, ” उसे अपने बाल काटने पर बतौर सज़ा छह माह घर के अंदर एक कमरे में बंद रहना पड़ा। उसे हमेशा यह भय सताता रहता था कि उसके पिता उसे मार देंगे। वह सऊदी में नहीं रहना चाहती थी।”
रहाफ सऊदी प्रशासन के तौर-तरीक़ों और खशोगी की हत्या से भली-भाँति वाक़िफ़ थी। सोशल मीडिया, ख़ासकर ट्विटर पर अपने मित्रों और शुभचिंतकों में बहुचर्चित रहाफ को थाईलैंड पहुँचने के बाद बताया गया कि संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी कार्यक्रम के तहत थाईलैंड शरणार्थी संधि के अंतर्गत नहीं है। इस पर उसने हार नहीं मानी। उसे मालूम था कि सऊदी अरब की इस्लामिक वहाबी कट्टरपन की नीतियों के कारण एक महिला होने के फलस्वरूप उस पर ज्यादतियों का पहाड़ टूट सकता है। रहाफ के खुलेपन और इस्लामिक कट्टरपन की नीतियों के कारण उसे देश वापस लौटने पर मौत की सज़ा हो सकती है। इसलिए उस पर प्रशासन की निगाहें थीं। उसने आव्रजन पुलिस प्रमुख सुराचेत हाकपर्न से सम्पर्क रखा। साथ ही रहाफ ने अपने मित्रों के साथ ट्विटर पर सम्पर्क रखते हुए आस्ट्रेलिया सहित दो-तीन देशों से शरण माँगने के लिए प्रयास किए थे। उसने थाईलैंड के आव्रजन पुलिस प्रमुख सुराचेत हाकपर्न से कुछ छिपाया नहीं। हाकपर्न ने ही मीडिया को बताया कि शुक्रवार सांय तक आस्ट्रेलिया से शरण मिलने की सूचना के इंतज़ार से पहले ही वह देर रात कनाडा रवाना हो गईं। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन त्रूडो ने सऊदी अरब से और अधिक संबंध ख़राब होने की परवाह किए बिना रहाफ को शरण दिए जाने के बंदोबस्त कर दिए थे। ट्रूडो ने कहा कि कनाडा मानवीय अधिकारों और महिला अधिकारों के प्रति सजग है। टर्की के बाद कनाडा पहला देश है, जिसने सऊदी अरब से निष्कासित खशोगी की हत्या पर सऊदी अरब की निंदा की थी और निष्पक्ष जाँच कराए जाने की माँग की थी। कनाडा और सऊदी अरब के बीच अन्य कारणों से कूटनीतिक संबंध नहीं हैं।


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