बिहार का इकलौता रामसर साइट नव वर्ष के स्वागत को तैयार

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बेगूसराय, 26 दिसंबर (हि.स.)। अंग्रेजी कैलेंडर के नए साल का काउंट डाउन शुरू हो चुका है। नए साल के स्वागत को लेकर पिकनिक स्पॉट एवं होटलों में विशेष तैयारी की जा रही है। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व वाली सरकार द्वारा घोषित बिहार का इकलौता रामसर साइट, प्राकृतिक छटा से ओत-प्रोत एशिया में मीठे पानी का सबसे बड़ा झील काबर झील एवं उसके मध्य स्थित शक्तिपीठ जयमंगलागढ़ नववर्ष में पर्यटकों के स्वागत के लिए तैयार हो चुका है। जयमंगलागढ़ में मंदिर के आसपास जहां बाजार सजने लगे हैं। वहीं, काबर के मछुआरों ने अपने नाव को दर्शकों के काबर सैर के लिए तैयार कर लिया है। सरकारी उपेक्षा के बाद भी कांटों के बीच अतीत की यादें परोसती काबर झील प्रत्येक वर्ष एक जनवरी को पर्यटकों को लुभाती आ रही है। इसबार भी करीब दो लाख लोगों के आने का अनुमान है तथा प्रशासन तैयारी पूरी कर चुका है। रमणीक याद समेटे काबर झील पर्यटकों एवं स्थानीय लोगों बरबस ही खींच लाती है। झील में सूर्योदय के साथ कमल खिलना, मछलियों के तैरने, पेड़-पौधों और कलरव करते पक्षियों के झुंड, बंदरों के साथ हुड़दंग का मजा उठाना सब चाहते हैं। प्रकृति की अनुपम भेंट की संभावनाओं की प्रमाणिकता नववर्ष के अवसर पर पहुंचने वाली लाखों लोगों की भीड़ बयां करती आ रही है।

प्रकृति की मनोरम छटा के बीच काबर की गोद में स्थित माता जयमंगला का मंदिर भी नये साल पर लोगों को बरबस ही खींच लाता है। वहीं वन क्षेत्र वनभोज का लुत्फ उठाने के लिए वर्ष के पहले दिन बड़ी संख्या में पर्यटकों के पहुंचने का कारण है। काबर नेचर क्लब के संयोजक महेश भारती कहते हैं कि पर्यटक झील में नौका विहार का आनंद उठाते हैं। बिहार का काबर टाल पक्षी विहार का महत्व उसकी जैव विविधता को लेकर है। इसी महत्व को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार द्वारा काबर को अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाने का प्रयास शुरू किया गया, पिछले वर्ष इसे बिहार का पहला और देश का 39 वां रामसर साइट घोषित करने के बाद अंतरराष्ट्रीय पहचान मिल गया तथा यह चर्चा में आ गया है।

काबर में 165 से अधिक प्रकार की वनस्पतियों की प्रजातियां पाई जाती है। इसके अलावे 394 से भी अधिक प्रकार के जीवों का भी वासस्थल है। देसी और विदेशी 221 प्रजातियों के पक्षियों का कलरव लोगों को आकर्षित करता रहा है तथा बड़ी संख्या में लोग नववर्ष का जश्न मनाने काबर आते रहे हैं। लेकिन रामसर साइट घोषित होने के बाद इसके प्रति लोगों का आकर्षण और बढ़ गया है। फिलहाल प्रशासन ने नववर्ष के अवसर पर पहुंचने वाले पर्यटकों की भीड़ नियंत्रण के लिए पूरी तैयारी की है। पूरे क्षेत्र को बीस प्वांइट में बांटकर मजिस्ट्रेट के साथ पुलिस अधिकारी को तैनाती किया जा रहा है। मंझौल-गढपुरा पथ पर नित्यानंद चौक से जयमंगलागढ़ मोड़ तक वन वे ट्राफिक की व्यवस्था रहेगी।


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